दो दर के जीएसटी ढांचे की जरूरत, छूट सूची छोटी हो: पनगढ़िया |

दो दर के जीएसटी ढांचे की जरूरत, छूट सूची छोटी हो: पनगढ़िया

दो दर के जीएसटी ढांचे की जरूरत, छूट सूची छोटी हो: पनगढ़िया

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:57 PM IST, Published Date : July 20, 2022/10:14 pm IST

नयी दिल्ली, 20 जुलाई (भाषा) नीति आयोग के पूर्व उपाध्यक्ष अरविंद पनगढ़िया ने माल एवं सेवा कर (जीएसटी) के दो स्लैब ढांचे की वकालत करते हुए कहा है कि छूट वाली सूची को छोटा किया जाना चाहिए।

उन्होंने कहा कि पिछले 17 साल में भारतीय अर्थव्यवस्था काफी तेजी से बढ़ी है। अगले दो दशक में यह सात से आठ प्रतिशत की दर से बढ़ेगी।

कोलंबिया ग्लोबल सेंटर्स द्वारा आयोजित एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए पनगढ़िया ने कहा, ‘‘हमें दो दर के जीएसटी ढांचे की जरूरत है। जीएसटी की छूट की सूची को भी कम किया जाना चाहिए।’’

भारत की वृहद आर्थिक स्थिति पर पनगढ़िया ने कहा कि हम पिछले 17 साल से काफी तेजी से बढ़ रहे हैं। हम अगले दो दशक में सात से आठ प्रतिशत की दर से बढ़ेंगे।

उन्होंने कहा कि 2014-15 से 2019-20 यानी नरेंद्र मोदी सरकार के पहले पांच साल के कार्यकाल में भारतीय अर्थव्यवस्था 7.4 प्रतिशत की दर से बढ़ी है।

उन्होंने कहा कि 2008 से 2012 के दौरान संयुक्त प्रगतिशील गठंबधन (संप्रग) सरकार के कार्यकाल में बैंकों ने अंधाधुंध कर्ज बांटा। इससे गैर-निष्पादित आस्तियां (एनपीए) बढ़ीं और 2019-20 में आर्थिक वृद्धि दर घटकर चार प्रतिशत पर आ गई।

कुछ विशेषज्ञों द्वारा श्रीलंका की हालिया स्थिति की तुलना भारत से करने पर पनगढ़िया ने कहा, ‘‘यह बकवास है। भारत एक काफी स्थिर अर्थव्यवस्था है।’’

पनगढ़िया फिलहाल कोलंबिया विश्वविद्यालय में अर्थशास्त्र के प्रोफेसर हैं।

भाषा अजय अजय जतिन

जतिन

 

(इस खबर को IBC24 टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)

Flowers