तेंदुआ के हमले से बच्‍ची की मौत, प्रशासन ने दी रात को बच्चों को अकेला नहीं छोड़ने की सलाह |

तेंदुआ के हमले से बच्‍ची की मौत, प्रशासन ने दी रात को बच्चों को अकेला नहीं छोड़ने की सलाह

तेंदुआ के हमले से बच्‍ची की मौत, प्रशासन ने दी रात को बच्चों को अकेला नहीं छोड़ने की सलाह

:   Modified Date:  December 5, 2022 / 08:19 PM IST, Published Date : December 5, 2022/8:19 pm IST

बलरामपुर (उत्तर प्रदेश), पांच दिसंबर (भाषा) बलरामपुर जिले के सोहेलवा वन्य क्षेत्र के भाभर रेंज में सोमवार को तेंदुए के हमले में एक बच्ची की मौत हो गई। प्रशासन के एक वरिष्ठ अधिकारी ने सोमवार को यह जानकारी दी।

प्रशासन से मिली जानकारी के अनुसार, सोमवार को पचपेड़वा थाना क्षेत्र के रेहरा गांव निवासी सदानंद की बेटी सुनीता (10) सोमवार को मवेशी चराने गांव के बाहर गई हुई थी, तभी तेंदुए ने सुनीता पर हमला कर दिया और उसे उठा कर जंगल में लेकर जाने लगा। जानकारी के अनुसार, यह देखकर आसपास खेल रहे बच्चों शोर मचाया तो गांव मदद के लिए वहां पहुंचे, जिनसे डरकर तेंदुआ बच्ची को छोड़कर जंगल में भाग गया। गांव वाले बच्ची को लेकर पचपेड़वा अस्पताल पहुंचे, जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया।

घटना की जानकारी पाकर वनाधिकारी डॉक्टर एम सेम मारन मौके पर पहुंचे और तेंदुए को पकड़ने के निर्देश दिए। मारन ने ग्रामीणों से अपील की है कि अपने बच्चों को अकेला ना छोड़ें और उन्हें जंगल के किनारे मत जाने दें।

उन्होंने बताया कि तेंदुए को पकड़ने के लिए वन विभाग की तरफ से दो टीम लगाई गई हैं। उन्होंने बताया कि तेंदुए की तलाश के लिए प्रभावित गांवों के आस-पास के जंगल में कैमरे लगाए जा रहे हैं ताकि तेंदुए की गतिविधियों पर नजर रखी जा सके।

जिलाधिकारी (डीएम) डॉक्टर महेंद्र कुमार ने कहा कि बच्ची के शव का पोस्टमार्टम कराया जा रहा है। रिपोर्ट मिलते ही मृतक के परिजनों को आर्थिक सहायता दी जाएगी।

उन्होंने कहा कि वन विभाग की टीम को सघन अभियान चलाकर तेंदुए को पकड़ने के निर्देश दिए गए हैं। उन्होंने ग्रामीणों से अपील किया कि अपने बच्चों को अकेला न छोड़ें और रात में घरों से निकलते समय लाठी व टॉर्च लेकर निकलें।

उल्लेखनीय है कि पिछले सप्ताह मजगवा खुर्द गांव में तेंदुए ने हमला कर 11 वर्षीय बच्चे संदीप को मार डाला था। तेंदुए के लगातार हो रहे हमलों से ग्रामीणों में दहशत व्याप्त है और किसान अपने खेतों में काम करने से डरने लगे हैं।

भाषा सं आनन्द अर्पणा

अर्पणा

 

(इस खबर को IBC24 टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)

Flowers