बस्तर क्षेत्र से इकलौते बीजेपी विधायक चुने गए थे भीमा मंडावी, ऐसा रहा उनका सियासी सफर, जानिए
बस्तर क्षेत्र से इकलौते बीजेपी विधायक चुने गए थे भीमा मंडावी, ऐसा रहा उनका सियासी सफर, जानिए
रायपुर। लोकसभा चुनाव की सरगर्मी के बीच दंतेवाड़ा के कुआकोंडा में हुए नक्सली हमले में बीजेपी विधायक भीमा मंडावी की मौत हो गई। भीमा मंडावी दूसरी बार विधायक चुने गए थे। उन्होंने पिछले वर्ष नवंबर-दिसंबर में हुए विधानसभा चुनाव में कांग्रेस उम्मीदवार देवती कर्मा को पराजित किया था। भीमा मंडावी विधानसभा में भाजपा विधायक दल के उपनेता भी थे।
मंडावी दंतेवाड़ा जिले के गदापाल निवासी थे और 2008 में पहली बार विधायक चुने गए थे। हालांकि इसके बाद वे 2013 का विधानसभा चुनाव हार गए थे। लेकिन 2018 में पार्टी ने फिर से उन पर भरोसा जताते हुए उन्हें टिकट दिया। उन्होंने 2002 में स्नातक की डिग्री हासिल की थी। भीमा पेशे से कृषक थे, उनके परिवार में माता- पिता और पत्नी ओजस्वी मंडावी के अलावा एक पुत्र खिलेंद्र मंडावी है।
यह भी पढ़ें : विधायक भीमा मंडावी की मौत से फिर दहला बस्तर, इन नेताओं की भी हुई थी नक्सली हमले से मौत
यहां गौर करने वाली बात है कि पिछले चुनाव में जहां कांग्रेस जहां एकतरफा जीती थी वहीं भीमा मंडावी बस्तर संभाग से अकेले विधायक चुने गए थे। भीमा की छवि कट्टर बतौर हिंदूवादी नेता रही। वे विश्व हिंदू परिषद से भी जुड़े रहे और भाजपा के आदिवासी युवा मोर्चा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष भी थे। बता दें कि छत्तीसगढ़ में तीन चरणों में चुनाव होने हैं. यहां 11 अप्रैल, 18 अप्रैल और 23 अप्रैल को वोट डाले जाएंगे।

Facebook



