पिछले दरवाजे से धर्म-आधारित आरक्षण लागू करने के प्रयास का संकेतक है कांग्रेस का घोषणापत्र : राजनाथ

पिछले दरवाजे से धर्म-आधारित आरक्षण लागू करने के प्रयास का संकेतक है कांग्रेस का घोषणापत्र : राजनाथ

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  • Publish Date - April 24, 2024 / 07:45 PM IST,
    Updated On - April 24, 2024 / 07:45 PM IST

विशाखापत्तनम, 24 अप्रैल (भाषा) भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के वरिष्ठ नेता राजनाथ सिंह ने बुधवार को आरोप लगाया कि कांग्रेस का घोषणा-पत्र सत्ता में आने पर धर्म आधारित आरक्षण लागू करने के पिछले दरवाजे के प्रयासों का संकेत देता है और जब प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने इसे उजागर किया, तो सबसे प्राचीन पार्टी (कांग्रेस) ने उन पर हमला करना शुरू कर दिया।

सिंह ने यहां एक सभा को संबोधित करते हुए कहा कि भाजपा या राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) का आदर्श वाक्य है- ‘सभी को न्याय, किसी का तुष्टीकरण नहीं’।

आंध्र प्रदेश में सत्तारूढ़ वाईएसआर कांग्रेस सरकार पर निशाना साधते हुए भाजपा नेता ने कहा कि विशाखापत्तनम एक सांस्कृतिक, औद्योगिक और वाणिज्यिक केंद्र माना जाता था, लेकिन अब यह ‘‘मादक पदार्थों की राजधानी’’ और ‘‘अंतरराष्ट्रीय मादक पदार्थ वितरण केंद्र’’ के रूप में कुख्यात हो गया है।

उन्होंने कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा, ‘‘वर्तमान घोषणा-पत्र में, कांग्रेस ने फिर से सरकारी नौकरियों में धार्मिक अल्पसंख्यकों के लिए आरक्षण का संकेत दिया है, जिसे लागू किया गया तो इसमें सशस्त्र बल भी शामिल हो सकते हैं। यह एक ऐसा विचार है जो देश की एकता को प्रभावित करता है। क्या यह इस देश के लिए बहुत भयावह स्थिति नहीं होगी?’’

सिंह ने यह भी कहा कि कांग्रेस सरकार के कार्यकाल के दौरान गठित सच्चर समिति ने 2006 में रिपोर्ट दी थी, जिसमें सुझाव दिया गया था कि भारतीय सेना की गिनती धर्म के आधार पर की जानी चाहिए। उन्होंने कहा कि आजाद भारत के इतिहास में पहली बार देखा गया कि सैन्य बलों को धर्म के आधार पर बांटने की कोशिश की गयी।

उन्होंने कहा, ‘‘मेरी चिंता यह है कि कांग्रेस ने अपने घोषणा-पत्र में ‘अल्पसंख्यक कल्याण’ के नाम पर जो कुछ भी कहा है, वह सच्चर समिति की रिपोर्ट से प्रभावित है।’’

सिंह ने कहा कि पिछली कांग्रेस सरकार ने (विभाजन से पहले) आंध्र प्रदेश में ‘मुस्लिम आरक्षण’ लागू करने के चार असफल प्रयास किए, लेकिन कानूनी बाधाओं और उच्चतम न्यायालय की वजह से यह कदम सफल नहीं हो सका।

पूर्व भाजपा अध्यक्ष ने आरोप लगाया कि कांग्रेस ने 2011 में इसे पूरे देश में लागू करने की कोशिश की। उन्होंने कहा कि 2004 से 2014 के बीच धर्म के आधार पर आरक्षण देने का एक और प्रयास किया गया।

उन्होंने आगे कहा कि पार्टी के इरादों को समझने के लिए कांग्रेस के घोषणा-पत्र के अल्पसंख्यकों से जुड़े अध्याय में धारा-तीन और छह को एक साथ पढ़ना होगा।

सिंह ने तेलुगु गौरव का जिक्र करते हुए कहा कि जब प्रधानमंत्री मोदी आंध्र प्रदेश आए, तो उन्होंने कई मंदिरों का दौरा किया और अल्लूरी सीताराम राजू जैसे महान लोगों को श्रद्धांजलि दी तथा भारत के स्वतंत्रता संग्राम में उनके योगदान को याद किया।

भाजपा नेता ने यह भी कहा कि राजग ने ही पूर्व प्रधानमंत्री पी. वी. नरसिंह राव को ”भारत रत्न” दिया था, जबकि वह (राव) कांग्रेस पार्टी के नेता थे।

सिंह ने केंद्र द्वारा शुरू की गई विकासात्मक और बुनियादी ढांचा परियोजनाओं का उल्लेख किया और आरोप लगाया कि राज्य 13.5 लाख करोड़ रुपये के कर्ज में डूब गया है, जिसके परिणामस्वरूप आंध्र प्रदेश के प्रत्येक नागरिक पर दो लाख रुपये का बोझ पड़ा है।

भाजपा नेता ने लोगों से राज्य में राजग उम्मीदवारों के पक्ष में वोट करने की अपील की।

आंध्र प्रदेश में 13 मई को लोकसभा चुनाव के साथ-साथ विधानसभा चुनाव भी होंगे।

भाषा सुरेश रंजन

रंजन