10 साल में सबसे खराब हालात, निजी क्षेत्र की नौकरियों में वेतन वृद्धि में दर्ज की गई रिकॉर्ड गिरावट

10 साल में सबसे खराब हालात, निजी क्षेत्र की नौकरियों में वेतन वृद्धि में दर्ज की गई रिकॉर्ड गिरावट

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  • Publish Date - August 21, 2019 / 11:48 AM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 08:56 PM IST

नई दिल्ली | अलग-अलग क्षेत्र के उत्पादों की बिक्री में गिरावट दर्ज की जा रही है, यही कारण है कि कंपनियां अपने खर्च में कटौती करने में जुट गई हैं। आंकड़े बता रहे हैं कि निजी क्षेत्र की नौकरियों में वेतन वृद्धि में रिकॉर्ड गिरावट दर्ज हुई है। वित्त वर्ष 2018-19 में निजी कंपनियों के कर्मचारियों की वेतन वृद्धि का प्रदर्शन पिछले 10 सालों में सबसे खराब रहा है। यही नहीं बल्कि पिछले सात सालों में पहली बार ऐसा हुआ है कि बिक्री राजस्व में वेतन का हिस्सा कम आंका गया हो।

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बता दें कि ये आंकड़े सेंटर फॉर मॉनिटरिंग इंडियन इकोनॉमी (CMIE) द्वारा जारी किए गए हैं। इसमें 4,953 कंपनियां हैं, जिनके पास वित्त वर्ष 2018-19 के अंत तक पिछले दस सालों का बिक्री और वेतन का डेटा है। बता दें कि 4,953 कंपनियों में से 3,353 कंपनियों ने वित्त वर्ष 2018-19 में 82 लाख लोगों को रोजगार दिया है।

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2018-19 में इन सभी कंपनियों के नकदी वेतन और बिक्री राजस्व में क्रमश 6 फीसदी और 9 फीसदी की बढ़ोतरी रही। निजी क्षेत्र में वेतन में कटौती के कारणों के पीछे जानकारों का मानना है कि काफी समय से कंपनियों का व्यापार अच्छा नहीं रहा है। 2012-13 के बाद लगातार चार वर्षों तक डाटाबेस में सूचित कंपनियों को नाकारात्मक वास्तविक वृद्धि का सामना करना पड़ा है। 2016-17 और 2017-18 में बिक्री राजस्व में एक हद तक सुधार हुआ था लेकिन बीते वर्ष इसमें फिरसे गिरावट दर्ज की गई।