गुजरात के नये मुख्यमंत्री ने सौराष्ट्र में बाढ़ जैसी स्थिति पर बैठक की, लोगों को सुरक्षित स्थान पर ले जाने के निर्देश दिये

गुजरात के नये मुख्यमंत्री ने सौराष्ट्र में बाढ़ जैसी स्थिति पर बैठक की, लोगों को सुरक्षित स्थान पर ले जाने के निर्देश दिये

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  • Publish Date - September 13, 2021 / 10:36 PM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 08:22 PM IST

अहमदाबाद, 13 सितंबर (भाषा) गुजरात के नये मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने सोमवार को अधिकारियों के साथ एक उच्च स्तरीय बैठक की और सौराष्ट्र क्षेत्र के कुछ हिस्सों में बाढ़ जैसी स्थिति की समीक्षा की और वर्षा प्रभावित जामनगर जिले में फंसे लोगों को वायु मार्ग से सुरक्षित स्थान पहुंचाने का निर्देश दिया ।

प्रदेश में सोमवार को सौराष्ट्र क्षेत्र के कुछ हिस्सों में जबरदस्त बारिश हुयी, जिससे इसमें तीन लोगों की मौत हो गई। राजकोट और जामनगर में नदियां उफान पर आ गईं और निचले इलाकों में लोगों को जलभराव की समस्या का सामना करना पड़ा। इसके चलते विभागों को चेतावनी जारी करनी पड़ी और बचाव एवं राहत कार्यों के लिए एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीमों को तैनात किया गया।

गुजरात के तत्कालीन मुख्यमंत्री विजय रूपाणी के शनिवार को पद से इस्तीफा देने के बाद रविवार को भारतीय जनता पार्टी ने पटेल को सर्वसम्मति से विधायक दल का नेता चुन लिया जिसके बाद उन्होंने सोमवार को प्रदेश के 17 वें मुख्यमंत्री के रूप में पद और गोपनीयता की शपथ ली ।

राज्य सरकार की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि पद और गोपनीयता की शपथ लेने से पहले भूपेंद्र पटेल ने रूपाणी सरकार में उपमुख्यमंत्री रहे नीतिन पटेल से उनके आवास पर मुलाकात की । इसके बाद भूपेंद्र पटेल गांधीनगर पहुंचे और वहां निवर्तमान मुख्यमंत्री विजय रूपाणी से उनके आवास पर मुलाकात की और विभिन्न मुद्दों पर चर्चा हुयी ।

शपथ लेने से पहले मनोनीत मुख्यमंत्री के रूप में पटेल ने जामनगर जिले के अधिकारियों को तीन गांवों में फंसे 35 लोगों को एयरलिफ्ट करने के लिये आवश्यक इंतजाम करने का निर्देश दिया । रविवार को मूसलाधार बारिश के कारण तीनों गांव जिले के शेष हिस्से से कट गये हैं।

जामनगर जिला प्रशासन के मुताबिक, जिले के गांवों से लोगों को निकालने के लिए वायुसेना से मदद करने का आग्रह किया गया है।

सोमवार दोपहर को शपथ ग्रहण के बाद, मुख्यमंत्री ने सौराष्ट्र क्षेत्र के कुछ हिस्सों में खास कर जामनगर और राजकोट में बाढ़ की स्थिति की समीक्षा करने के लिये गांधीनगर में अधिकारियों के साथ बैठक की ।

बयान में कहा गया है कि पटेल ने जामनगर के जिला कलेक्टर से फोन पर बात की और एनडीआरएफ की मदद से राहत एवं बचाव अभियान को तेज करने तथा फंसे लोगों को सुरक्षित स्थानों पर भेजने के लिये कहा ।

मुख्यमंत्री ने राजकोट के कलेक्टर एवं राजकोट नगर निगम के आयुक्त को भी निचले इलाके में रहने वाले लोगों को सुरिक्षत स्थानों पर भेजने के लिये कहा है।

जिला अधिकारियों ने बताया कि प्रभावित जिलों से लोगों को सुरक्षित जगह ले जाने के लिये भारतीय वायु सेना के हेलीकॉप्टरों को तैनात किया गया है ।

राज्य आपातकालीन अभियान केंद्र (एसईओसी) के अधिकारियों ने बताया कि राजकोट के लोधिका तालुका में सोमवार को सुबह छह बजे से 10 घंटे की अवधि में 435 मिलीमीटर बारिश हुई जबकि जूनागढ़ की विसावदर तालुका में 364 मिलीमीटर, जामनगर के कलावाड़ में 348 मिलीमीटर, राजकोट तालुका में 305 मिलीमीटर और राजकोट के धोराजी में 202 मिलीमीटर बारिश दर्ज की गई।

अधिकारियों ने बताया कि राजकोट के कलावाड़ और जामनगर जिले के जाम जोधपुर में कार बह जाने की अलग-अलग घटनाओं में क्रमश: एक महिला और दो पुरुषों की मौत हो गई।

उन्होंने बताया कि राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) और राज्य आपदा मोचन बल (एसडीआरएफ) की कई टीमों को राजकोट, जूनागढ़ और जामनगर भेजा गया है।

जिलाधिकारी सौरभ पारधी ने बताया कि जामनगर जिले के विभिन्न गांवों से वायुसेना के हेलिकॉप्टरों द्वारा लगभग 20 लोगों को अन्य स्थानों पर भेजा गया और 30 अन्य को भी बचाया गया। वहीं, राजकोट के जिलाधिकारी अरुण महेश बाबू ने बताया कि वायुसेना के हेलिकॉप्टर जिले के तीन अलग-अलग गांवों से 22 लोगों को निकालने की तैयारी कर रहे हैं।

एसईओसी के एक अधिकारी ने बताया कि जामनगर और कलावाड़ के बीच राष्ट्रीय राजमार्ग का एक हिस्सा बाढ़ के कारण अवरुद्ध हो गया जबकि जामनगर, अमरेली और पोरबंदर छह राज्य राजमार्ग और विभिन्न जिलों में 58 गांवों की सड़कें इसी तरह प्रभावित हुईं।

इस बीच भारत मौसम विभाग ने कहा है कि बुधवार तक पूरे गुजरात में मूसलाधार बारिश होने की संभावना है।

भाषा रंजन उमा

उमा