प्रधान ने डीयू को छात्रों के लिये भविष्योन्मुखी पाठ्यक्रम तैयार करने का सुझाव दिया |

प्रधान ने डीयू को छात्रों के लिये भविष्योन्मुखी पाठ्यक्रम तैयार करने का सुझाव दिया

प्रधान ने डीयू को छात्रों के लिये भविष्योन्मुखी पाठ्यक्रम तैयार करने का सुझाव दिया

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:50 PM IST, Published Date : May 19, 2022/4:42 pm IST

नयी दिल्ली, 19 मई (भाषा) केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान ने बृहस्पतिवार को सुझाव दिया कि दिल्ली विश्वविद्यालय को छात्रों के हितों को ध्यान रखते हुए भविष्योन्मुखी पाठ्यक्रम तैयार करना चाहिए ।

दिल्ली विश्वविद्यालय में आयोजित तीन दिवसीय अंतरराष्ट्रीय सेमिनार ‘‘री-विजिटिंग द आयडियाज ऑफ इंडिया फ्रॉम स्वराज टू न्यू इंडिया’’ के उद्घाटन सत्र को संबोधित कर रहे प्रधान ने कहा ‘‘डीयू अपना शताब्दी वर्ष मना रहा है और हम भारत की आजादी का अमृत महोत्सव मना रहे हैं। यह एक संयोग ही है।’’

उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय को छात्रों के हितों को ध्यान रखते हुए भविष्योन्मुखी पाठ्यक्रम तैयार करना चाहिए ।

उन्होंने कहा ‘‘समय बदल रहा है। डीयू पेटेंट प्रक्रिया पर अल्पकालिक डिप्लोमा पाठ्यक्रम शुरू कर सकता है। इससे छात्र न केवल भारत में बल्कि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर रोजगार हासिल करने में सक्षम होंगे। ’’

उन्होंने कहा कि आज प्रौद्योगिकी का अधिक प्रवेश हुआ है, नयी चीजों का सृजन हो रहा है, हमारे देश में अनुसंधान हो रहा है लेकिन उस अनुपात में पेटेंट नहीं हो रहा है।

शिक्षा मंत्री ने कहा, ‘‘ क्या डीयू पेटेंट प्रक्रिया पर अल्पकालिक कोर्स चला पायेगा, क्या ब्लाक चेन एकाउंटिंग पर नया पाठ्यक्रम तैयार कर पायेगा, क्या ई कामर्स पर नया कोर्स तैयार कर पायेगा? दिल्ली विश्वविद्यालय को अपने यहां भविष्योन्मुखी कोर्स जोड़ना चाहिए।’’

प्रधान ने कहा कि विश्वविद्यालय केवल एक समूह या परिसर नहीं होता है, यह केवल छात्रों एवं प्राध्यापकों तक ही सीमित नहीं होता बल्कि इसकी भूमिका मार्गदर्शक की होती है।

शिक्षा मंत्री ने यह भी बताया कि आयोजन के मुख्य अतिथि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह उस वक्त भावुक हो गए थे जब उन्होंने समारोह में अपना स्वागत करते एनसीसी के कैडेट देखे। उन्होंने कहा ‘‘हमारे प्रवेश करते ही एनसीसी कैडेट हमारा स्वागत करने लगे। यह देख कर गृह मंत्री भावुक हो गए। उन्हें अपना समय याद आ गया जब वह एनसीसी कैडेट थे और उन्होंने अपने गांव में आए मोरारजी देसाई का स्वागत किया था। ’’

प्रधान के अनुसार, गृह मंत्री ने कहा कि स्वागत करने वाले कैडेट में से कोई 30-40 साल बाद देश का प्रधानमंत्री बन सकता है।

भाषा दीपक मनीषा

मनीषा

 

(इस खबर को IBC24 टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)

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