न्यायालय ने राज्यों, केंद्रशासित प्रदेशों से बेघर लोगों से जुड़े मुद्दों पर जवाब देने को कहा |

न्यायालय ने राज्यों, केंद्रशासित प्रदेशों से बेघर लोगों से जुड़े मुद्दों पर जवाब देने को कहा

न्यायालय ने राज्यों, केंद्रशासित प्रदेशों से बेघर लोगों से जुड़े मुद्दों पर जवाब देने को कहा

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:54 PM IST, Published Date : October 11, 2022/8:51 pm IST

नयी दिल्ली, 11 अक्टूबर (भाषा) उच्चतम न्यायालय ने मंगलवार को सभी राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों से बेघर लोगों और आश्रय गृहों की संख्या से जुड़े मुद्दों पर तीन सप्ताह के भीतर जवाब देने और आने वाली सर्दी के मौसम के लिए इस बाबत उनकी योजना बताने को कहा।

वरिष्ठ अधिवक्ता प्रशांत भूषण ने अदालत के समक्ष इन मुद्दों को प्रस्तुत किया था।

प्रधान न्यायाधीश यू यू ललित की अध्यक्षता वाली पीठ शहरों में बेघर लोगों के संबंध में याचिकाओं पर सुनवाई कर रही थी। पीठ को बताया गया कि शहरी क्षेत्रों में आश्रय गृहों या रैन बसेरों की संख्या बहुत कम है।

पीठ में न्यायमूर्ति एस आर भट्ट और न्यायमूर्ति बेला एम त्रिवेदी भी शामिल रहे। पीठ ने कहा, ‘‘हम निराशावादी नहीं हो रहे लेकिन इस देश में आबादी का जिस तरह का दबाव है, उसे देखते हुए आप आज जो भी करें, या एक-दो साल बाद जो भी करें, तब भी कुछ कमी रहेगी।’’

उसने कहा, ‘‘हमारी इतनी बड़ी आबादी दुर्भाग्य से बिना किसी गुजारे के, बिना साधनों के बेघर जीने को मजबूर है।’’

शीर्ष अदालत ने सुझाया कि इन मुद्दों का समाधान संबंधित उच्च न्यायालयों के माध्यम से निकालना उचित होगा।

एक याचिकाकर्ता की ओर से वकील प्रशांत भूषण ने कहा कि मामले में शीर्ष अदालत के हस्तक्षेप के उपयोगी प्रभाव रहे हैं।

भाषा

वैभव माधव

माधव

 

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