नलगोंडा (तेलंगाना), 22 जून (भाषा) अमेरिका में मारे गए साई चरण नक्का के माता पिता ने बुधवार को कहा कि वे नहीं चाहते थे कि उनका बेटा उन्हें यहां छोड़कर अमेरिका जाए। इसके साथ ही उन्होंने इस पर जोर दिया कि अमेरिकी सरकार को अपने नागरिकों को “अविवेकपूर्ण” तरीके से बंदूक के लाइसेंस नहीं देने चाहिए।
अमेरिका के मैरीलैंड राज्य के अधिकारियों के अनुसार, एक एसयूवी के भीतर बैठे साई चरण के सिर पर गोली लगने से वह घायल हो गए थे। सोमवार को तड़के साढ़े चार बजे मैरीलैंड परिवहन प्राधिकरण पुलिस को एक वाहन दुर्घटना की सूचना मिली थी।
साई चरण को मैरीलैंड विश्वविद्यालय के ट्रामा सेंटर में भर्ती किया गया जहां कुछ देर बाद उन्हें मृत घोषित कर दिया गया। बाल्टीमोर पुलिस ने इस हत्या की जांच के आदेश दिए हैं। नलगोंडा में साई चरण के परिवार को यह सूचना पाकर धक्का लगा और उनके पिता एन. नरसिम्हा तथा मां पद्मा खुद को संभाल नहीं पाई।
नरसिम्हा ने कहा कि उन्हें अपने बेटे की मौत की सूचना सोमवार रात को अपने भाई से मिली जो हैदराबाद में रहते हैं। नरसिम्हा ने कहा, “हम नहीं चाहते थे कि हमारा बेटा अमेरिका जाए। हम चाहते थे कि वह यहां रहे। मुझे उसे वहां भेजने में कोई रुचि नहीं थी और मैंने उससे नहीं जाने को भी कहा था। लेकिन वह नहीं माना और फिर हमने यह सोचकर जाने दिया कि उसकी अमेरिका जाने की बड़ी इच्छा है। हमने यह नहीं सोचा था कि एक दिन ऐसी खबर मिलेगी।”
उन्होंने कहा कि अमेरिकी सरकार को अपने नागरिकों को “अविवेकपूर्ण” तरीके से बंदूक के लाइसेंस नहीं देने चाहिए जिससे इस तरह की घटनाएं होती हैं। नरसिम्हा ने कहा कि साई चरण अगस्त 2020 में अमेरिका गया था और एमएस पाठ्यक्रम पूरा करने के बाद वह मैरीलैंड में पिछले छह महीने से काम कर रहा था।
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