Administration and common man are not yet aware about open borewell: बैतूल। खुले बोरवेल को लेकर अभी बैतूल जिले में प्रशासन और आम आदमी जागरूक नहीं नजर आ रहा है। अभी हाल में ही विदिशा में बोरवेल में गिरने की वजह से एक बच्चे की मौत हो गई थी, वही बैतूल जिले में भी 6 दिसंबर को मांडवी के 8 वर्षीय तन्मय की मौत ऐसे ही बोरवेल में गिर जाने की वजह से हुई थी। प्रशासन ने अभी कुछ दिन पूर्व ही खुले बोरवेल की सूचना देने पर इनाम देने जैसे स्तेहार भी जारी किए थे, लेकिन इसके बावजूद भी ना तो आम आदमी सतर्क हो रहा है और ना ही प्रशासनिक अमला इसमें किसी तरह से कोई कसावट ला पा रहा है।
ताजा मामला बैतूल जिले की आमला तहसील के अंतर्गत आने वाले छावल और रानी डोंगरी गांव का है, जहां पर मदन लाल यादव नाम के एक किसान के खेत में बिना केसिंग वाला खुला बोरवेल पगडंडी के बाजू में नजर आ रहा है। इस खुले बोरवेल में गिरने की वजह से कभी भी कोई भी हादसा हो सकता है, लेकिन ना तो किसान ने इस मामले की जानकारी प्रशासन को दी और ना ही इस बोरवेल को बंद करने की कोई जहमत उठाई है। इससे आप साफ अंदाजा लगा सकते हैं कि किस तरह लोग लापरवाही बरतते हुए खुले बोरवेल रखकर मौत को आमंत्रण दे रहे हैं।
इस खुले हुए बोरवेल की जानकारी मांडवी निवासी तन्मय साहू के पिता ने अपना एक वीडियो जारी करते हुए बतलाया की वो छावल और रानीडोंगरी गांव के पास स्थित एक किसान के खेत में मौजूद है। खान पर एक बिना केसिंग वाला खुला बोरवेल है। इसके पास से एक पगडंडी रास्ता भी है, जिससे ग्रामीण आना जाना कर रहे है। उन्होने खुले बोरवेल की सूचना बैतूल कलेक्टर अमनबिर सिंह के साथ-साथ कुछ और प्रशासनिक अधिकारियों को दी है। तकरीबन 1 घंटे का समय बीत चुका है वह इस बोरवेल वाले स्थान पर खड़े हैं, लेकिन अभी तक कोई भी प्रशासनिक अधिकारी उनकी सूचना देने के बाद यहां पर बोरवेल को बंद करने के लिए नहीं पहुंचा है।
उनका कहना है कि जिस तरह से प्रदेश के छतरपुर विदिशा में बोरवेल में बच्चे के गिरने के हादसे हो चुके है और बैतूल के मांडवी में उनके बच्चे तन्मय की बोरवेल में गिरने की वजह से मौत हो गई थी। इस तरह के हादसे कहीं और ना हो इस मामले में शासन प्रशासन जिस तरह से खुले बोरवेल को लेकर सक्ति करने की बात कर रहा है। उस तरह की सक्ति यहां पर भर्ती नहीं जा रही है। ज्ञात हो की यह सूचना देने वाले मांडवी ग्राम निवासी सुनील साहू वही है, जिनका 8 वर्षीय तन्मय नाम का बेटा एक खुले बोरवेल में 6 दिसंबर 2022 को गिर गया था। तन्मय को निकालने के लिए पूरे प्रशासनिक अमले ने 82 घंटे रेस्क्यू अभियान चलाकर तन्मय को बोरवेल से बाहर निकाला था, लेकिन तन्मय जिंदगी की जंग हार गया था और उसकी मौत हो चुकी थी।
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