इंदौर, नौ मई (भाषा) मध्यप्रदेश के खंडवा में सोमवार को मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी (सीएमएचओ) को एक महिला नर्स के तबादले के एवज में उससे 10,000 रुपये की कथित घूस लेते हुए रंगे हाथों पकड़ लिया गया। लोकायुक्त पुलिस के एक अधिकारी ने यह जानकारी दी।
लोकायुक्त पुलिस के उपाधीक्षक (डीएसपी) प्रवीण सिंह बघेल ने बताया कि खंडवा के सीएमएचओ डी एस चौहान को जाल बिछाकर पकड़ा गया, जब वह अपनी मातहत नर्स सविता झरबड़े से कथित घूस की पहली किश्त के तौर पर अपने सरकारी निवास में 10,000 रुपये ले रहे थे।
उन्होंने बताया कि झरबड़े खंडवा जिले के छैगांवमाखन के अस्पताल में पदस्थ हैं और वह पारिवारिक कारणों से अपना स्थानांतरण इस जिले के मुख्यालय में कराना चाहती थीं।
डीएसपी ने झरबड़े की शिकायत के हवाले से बताया कि नर्स ने जब सीएमएचओ से अपने तबादले का अनुरोध किया, तो उन्होंने शुरुआत में इस काम के लिए 40,000 रुपये की कथित घूस मांगी, लेकिन ‘‘मोल-भाव’’ के बाद वह 35,000 रुपये पर राजी हो गए।
बघेल ने बताया कि सोमवार को ही एक अन्य मामले में मध्यप्रदेश दीनदयाल अंत्योदय योजना के लिए बुरहानपुर जिले की परियोजना प्रबंधक सरिता स्वामी को अपने एक मातहत अफसर से 25,000 रुपये की कथित रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों पकड़ा गया।
उन्होंने बताया कि स्वामी पर आरोप है कि वह शासकीय राशि के आवंटन और इसका बकाया भुगतान कराने के एवज में सहायक विकासखंड प्रबंधक विजय पवार से घूस ले रही थीं।
बघेल ने बताया कि रिश्वतखोरी के दोनों मामलों में सरकारी अधिकारियों के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण (संशोधन) अधिनियम 2018 के तहत प्राथमिकी दर्ज की गई है। डीएसपी ने बताया कि दोनों आरोपियों को अभी गिरफ्तार नहीं किया गया है और जरूरी कानूनी औपचारिकताएं पूरी करके उन्हें छोड़ दिया गया है।
भाषा हर्ष
राजकुमार
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