मुंबई, 10 नवंबर (भाषा) कांग्रेस के वरिष्ठ नेता विजय वडेट्टीवार ने सोमवार को कहा कि पार्टी मुंबई नगर निकाय चुनाव स्वतंत्र रूप से लड़ेगी और नासिक में उनके सहयोगी अगर मनसे के साथ गठबंधन करना चाहते हैं तो इसमें कोई समस्या नहीं होनी चाहिए क्योंकि जिला इकाइयों को ‘स्थानीय स्थिति’ के अनुसार निर्णय लेने के लिए अधिकृत किया गया है।
हालांकि, उनका बयान महाराष्ट्र कांग्रेस प्रमुख हर्षवर्धन सपकाल के बयान से मेल नहीं खाता, जिन्होंने कहा कि नासिक में पार्टी पदाधिकारियों को राज ठाकरे के नेतृत्व वाली महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) के साथ गठबंधन के संबंध में बैठक में भाग लेने के लिए कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है।
कांग्रेस विधायक दल (सीएलपी) के नेता वडेट्टीवार ने नागपुर में पत्रकारों से कहा कि मुंबई के पदाधिकारियों ने महानगर में स्वतंत्र रूप से निकाय चुनाव लड़ने का फैसला किया है।
उन्होंने कहा, ‘‘मुंबई में सीट बंटवारे पर बातचीत का कोई सवाल ही नहीं है। मेरा मानना है कि वंचित बहुजन आघाडी, बहुजन समाज पार्टी (बसपा), मनसे के साथ गठबंधन में कोई समस्या नहीं होनी चाहिए, जो महा विकास आघाडी के सहयोगी नहीं हैं।’
वडेट्टीवार ने कहा, ‘‘अगर नासिक में कांग्रेस इकाई ने मनसे के साथ गठबंधन करने का फैसला किया है, तो यह केवल नासिक के लिए है। उन्होंने स्थानीय राजनीतिक स्थिति के आधार पर निर्णय लिया होगा। उन्हें ऐसा करने के लिए अधिकृत किया गया था। मुझे नहीं लगता कि इसमें कोई मुद्दा होना चाहिए।’’
उन्होंने कहा कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा), (अजित पवार की) राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) और (एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाली) शिवसेना के साथ कोई गठबंधन नहीं हो सकता है, लेकिन गैर-महायुति दलों को, जो महा विकास आघाडी का हिस्सा नहीं हैं, शामिल किया जा सकता है।
हालांकि, सपकाल ने बुलढाणा में पत्रकारों से बात करते हुए कहा, ‘प्रदेश इकाई ने किसी को भी मनसे के साथ बातचीत के लिए अधिकृत नहीं किया है। मनसे के साथ गठबंधन को लेकर हुई बैठक में शामिल होने वालों को कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है।’
सपकाल ने कहा, ‘‘नासिक के नेताओं ने प्रदेश इकाई से कोई चर्चा नहीं की। गठबंधन ‘इंडिया’ गठबंधन के सहयोगियों के साथ ही होना चाहिए।’’
इससे पहले दिन में मनसे नेता दिनकर पाटिल ने संवाददाताओं को बताया कि राज ठाकरे के नेतृत्व वाली पार्टी ने नासिक में स्थानीय निकाय चुनावों के लिए महा विकास आघाडी के साथ गठबंधन को अंतिम रूप दे दिया है।
महा विकास आघाडी में उद्धव ठाकरे की शिवसेना (यूबीटी), शरद पवार के नेतृत्व वाली राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (शरद चंद्र पवार) और कांग्रेस शामिल हैं।
मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) के नेता डी एल कराड और स्थानीय कांग्रेस नेता एवं पूर्व पार्षद राहुल दिवे ने उनका समर्थन किया।
कराड ने कहा कि सभी दलों ने सत्तारूढ़ महायुति के प्रभाव को कम करने के लिए आगामी चुनाव मिलकर लड़ने का फैसला किया है। महायुति में भाजपा, एकनाथ शिंदे की शिवसेना और अजित पवार के नेतृत्व वाली राकांपा शामिल है।
दिवे ने कहा, ‘हमें वरिष्ठों द्वारा स्थानीय स्तर पर निर्णय लेने के निर्देश दिए गए हैं। हमने हाथ मिलाने का फैसला किया है।’
हालांकि, दिवे ने कहा कि वह वरिष्ठ नेता बालासाहेब थोराट को इस फैसले के बारे में सूचित करेंगे और पार्टी आलाकमान के सभी आदेशों का पालन किया जाएगा।
हालांकि उद्धव ठाकरे और राज ठाकरे जुलाई से अब तक कई बार विभिन्न आयोजनों में मिले हैं और अपनी पार्टियों के बीच गठबंधन के संकेत देते हुए बयान दिए हैं, लेकिन कांग्रेस मनसे को एमवीए में शामिल करने का कथित तौर पर विरोध कर रही है।
आठ नवंबर को अकोला में राकांपा (शरद चंद्र पवार) प्रमुख शरद पवार ने मनसे को विपक्षी खेमे में साथ लेने का संकेत दिया था और आग्रह किया था कि ‘कांग्रेस पार्टी को महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना पर अतिवादी रुख नहीं अपनाना चाहिए और इस बारे में सोचना चाहिए।’
भाषा अमित अविनाश
अविनाश