'लापता' शिवसेना विधायक सूरत से लौटे, कहा -जबरन अस्पताल में भर्ती कराया |

‘लापता’ शिवसेना विधायक सूरत से लौटे, कहा -जबरन अस्पताल में भर्ती कराया

'लापता' शिवसेना विधायक सूरत से लौटे, कहा -जबरन अस्पताल में भर्ती कराया

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:21 PM IST, Published Date : June 22, 2022/9:39 pm IST

नागपुर/मुंबई, 22 जून (भाषा) शिवसेना के बागी नेता एकनाथ शिंदे के साथ सूरत गए पार्टी विधायक नितिन देशमुख ने बुधवार को दावा किया कि कुछ लोगों ने उन्हें जबरदस्ती वहां के एक अस्पताल में भर्ती कराया था और उन्हें इंजेक्शन लगाया गया जबकि उन्हें दिल का दौरा नहीं पड़ा था।

उस्मानाबाद का प्रतिनिधित्व करने वाले पार्टी के एक अन्य विधायक कैलास पाटिल ने कहा कि वह विधायकों को सूरत ले जाने वाली एक कार से भाग गए, कई किलोमीटर पैद चले, दोपहिया और ट्रक पर सवार हुए और अंतत: उन्हें मुख्यमंत्री के सरकारी आवास ‘वर्षा’ लाने के लिए मंगलवार तड़के एक वाहन भेजा गया।

देशमुख ने नागपुर हवाई अड्डे पर पत्रकारों से बातचीत करते हुए कहा कि वह किसी तरह सूरत से सुरक्षित महाराष्ट्र लौटने में सफल रहे और उन्होंने शिवसेना अध्यक्ष उद्धव ठाकरे के प्रति अपनी निष्ठा जतायी।

देशमुख की पत्नी ने एक दिन पहले अकोला पुलिस में शिकायत दर्ज कराई थी कि उनके पति लापता हैं। देशमुख विदर्भ क्षेत्र के अकोला जिले में बालापुर क्षेत्र से विधायक हैं।

उन्होंने दावा किया, ‘‘मैं उद्धव ठाकरे और बालासाहेब ठाकरे का शिवसैनिक हूं। मेरा स्वास्थ्य अच्छा है। मंगलवार को, 20-25 लोगों और पुलिस कर्मियों ने मुझे सूरत के एक अस्पताल में भर्ती करा दिया। उन्होंने कहा कि मुझे दिल का दौरा पड़ा था लेकिन मुझे कोई दिल का दौरा नहीं पड़ा था। मेरा रक्तचाप भी नहीं बढ़ा था। उनका इरादा गलत था। मुझे जबरन कुछ सूई लगायी गयी।’’

शिवसेना सांसद संजय राउत ने एक दिन पहले दावा किया था कि शिंदे के साथ सूरत गए कुछ विधायकों को गुमराह किया गया है और ‘अपहरण’ करके उन्हें गुजरात ले जाया गया है। उन्होंने कहा था कि नितिन देशमुख ने जब भागने की कोशिश की तो सूरत में ‘ऑपरेशन कमल’ के तहत पुलिस और गुंडों ने उनके साथ मारपीट की और उन्हें दिल का दौरा पड़ा।

अकोला पुलिस में दर्ज करायी गई अपनी शिकायत में देशमुख की पत्नी ने कहा था कि सोमवार रात से ही उनके पति से संपर्क नहीं हो पाया है।

शिवसेना के नेतृत्व वाली महा विकास अघाड़ी (एमवीए) सरकार उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली शिवसेना के वरिष्ठ मंत्री एकनाथ शिंदे और पार्टी से बड़ी संख्या में विधायकों के विद्रोह के बाद अस्तित्व के संकट से जूझ रही है।

शिंदे ने कहा था कि उनके समर्थन में 46 विधायक हैं।

उन्होंने एक मराठी टीवी चैनल से कहा, ‘‘मेरे पास (विधानसभा में दलबदल रोधी कानून के प्रावधानों से बचने के साथ एक अलग समूह बनाने के लिए) जरूरत से ज्यादा (शिवसेना के विधायकों की) संख्या है।’’ 288 सदस्यीय राज्य विधानसभा में शिवसेना के 55 सदस्य हैं।

देशमुख के दावों पर प्रतिक्रिया देते हुए, महाराष्ट्र कांग्रेस अध्यक्ष नाना पटोले ने कहा कि यह बताता है कि ‘लोकतंत्र की हत्या की जा रही है।’’ उन्होंने ट्वीट किया, ‘नितिन देशमुख के स्पष्टीकरण से, कोई भी यह समझ सकता है कि कैसे निचले स्तर तक गिरकर लोकतंत्र की हत्या की जा रही है। सत्य परेशान हो सकता है पराजित नहीं। इस संघर्ष में, कांग्रेस पार्टी शिवसेना और महा विकास आघाडी के साथ मजबूती से खड़ी है।’’

विधायक पाटिल ने कहा कि वह 20 जून को शिंदे द्वारा आयोजित रात्रिभोज के लिए ठाणे गए थे। हालांकि, जब कार रात 8-9 बजे के बीच महाराष्ट्र से निकल रही थी, तब उन्हें शक हुआ। पाटिल ने कार में उनके साथ मौजूद पांच-छह विधायकों के नाम बताने से इनकार कर दिया।

पाटिल ने पीटीआई-भाषा से कहा, ‘‘मैं टोल नाका (जो गुजरात का प्रवेश बिंदु और महाराष्ट्र का निकास बिंदु है) पर कार से बाहर कूद गया और सड़क के दूसरी तरफ पार हो गया और रात में कुछ किलोमीटर चलने के बाद एक गांव के पास एक बाइक सवार ने मुझे लिफ्ट दी।’’

पाटिल का जिक्र करते हुए शिवसेना नेता संजय राउत ने कहा, ‘‘एक विधायक चार घंटे पैदल चलकर मुंबई पहुंचा।’’

पाटिल ने कहा कि वह वाहन का इंतजार कर रहे थे, लेकिन कोई वाहन नहीं रुका। अंत में, उत्तर प्रदेश की नंबर प्लेट वाले एक ट्रक ने उन्हें दहिसर टोल नाका तक छोडा, जो कि मुंबई के लिए एक प्रवेश बिंदु है।’’

पाटिल ने कहा, ‘‘दहिसर टोल नाके से, मैंने मुख्यमंत्री के आवास पर फोन किया और मुझे लेने के लिए एक वाहन भेजा गया।’’

भाषा अमित माधव

माधव

 

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