हमारे सभी निशानेबाज तोक्यो ओलंपिक में पदक जीतने में सक्षम: पावेल स्मिरनोव | All our shooters capable of winning medals at Tokyo Olympics: Pavel Smirnov

हमारे सभी निशानेबाज तोक्यो ओलंपिक में पदक जीतने में सक्षम: पावेल स्मिरनोव

हमारे सभी निशानेबाज तोक्यो ओलंपिक में पदक जीतने में सक्षम: पावेल स्मिरनोव

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 07:53 PM IST, Published Date : June 10, 2021/11:08 am IST

(अभिषेक होरे)

नयी दिल्ली, 10 जून (भाषा) भारतीय पिस्टल टीम के लंबे समय से चले आ रहे विदेशी कोच पावेल स्मिरनोव का मानना है कि तोक्यो ओलंपिक में उनके एक या दो या तीन नहीं बल्कि सभी निशानेबाज स्वर्ण पदक सहित अन्य पदक जीतने में सक्षम हैं।

हाल के वर्षों में भारतीय निशानेबाजों ने शानदार सफलता हासिल की है और ऐसे में आगामी ओलंपिक में भारतीय निशानेबाजों से काफी उम्मीदें रहेंगी विशेषकर बेहद प्रतिभाशाली युवा पिस्टल निशानेबाजों से जिसमें सौरभ चौधरी और मनु भाकर शामिल हैं।

अभिषेक वर्मा और यशस्विनी सिंह देसवाल भी पदक के दावेदार हैं जबकि अनुभवी राही सरनोबत टीम को मजबूती प्रदान करती हैं।

स्मिरनोव ने जागरेब से पीटीआई से कहा, ‘‘उनमें से प्रत्येक निशानेबाज पोडियम पर जगह बना सकता है और वर्षों से मैंने भारतीय निशानेबाजी को देखा है। अपने दिन वे शीर्ष स्तर पर पदक जीत सकते हैं। स्वर्ण पदक भी। ’’

भारतीय निशानेबाजी टीम 2016 रियो खेलों में पदक जीतने में नाकाम रही थी जो स्तब्ध करने वाला नतीजा था जिसके बाद ओलंपिक चैंपियन अभिनव बिंद्रा की अगुआई में समीक्षा समिति की सिफारिशों पर भारतीय निशानेबाजी ढांचे में आमूलचूल बदलाव किए गए थे।

लंदन ओलंपिक 2012 में 25 मीटर रेपिड फायर पिस्टल में रजत पदक जीतने के दौरान विजय कुमार को कोचिंग देने वाले स्मिरनोव को इसके बाद राष्ट्रीय पिस्टल टीम का विदेशी कोच नियुक्त किया गया। उनके मार्गदर्शन में हालांकि जीतू राय जैसे अनुभवी निशानेबाज पांच साल पहले रियो में पदक जीतने में नाकाम रहे।

स्मिरनोव ने हालांकि कहा कि अब तोक्यो ओलंपिक को देखने का समय है।

उन्होंने कहा, ‘‘मुझे इस टीम से काफी उम्मीदें हैं। वे अच्छा प्रदर्शन करने में हकदार हैं क्योंकि उन्होंने काफी बलिदान दिए हैं, कम उम्र में परिपक्वता दिखाई है और पिछले चार साल में बेहद कड़ी मेहनत की है। हमारे लिए खेलों में काफी अच्छे नतीजे हासिल नहीं कर पाने का कोई कारण नहीं है। ’’

इस कोच को अब रियो 2016 की विफलता नहीं सालती।

उन्होंने कहा, ‘‘अतीत को कुरेदने का कोई कारण नहीं है। यह हमारे नियंत्रण में नहीं है। हमारे नियंत्रण में यह है कि हम भविष्य में क्या कर सकते हैं और फिलहाल हम यही सोच रहे हैं।’’

पिछले खेलों की तुलना में इस बार महामारी के कारण ओलंपिक खेलों के लिए कोचिंग स्टाफ की संख्या में कटौती की गई है।

विदेशी राइफल कोच ओलेग मिखाइलोव के साथ हालांकि स्मिरनोव पूरे खेलों के दौरान टीम के साथ रहेंगे जबकि अन्य कोचों को खेलों के लिए अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति के अधिकतम 30 प्रतिशत कोचिंग स्टाफ के नियम के तहत रोटेट किया जाएगा।

वीजा मिलने में देरी के कारण स्मिरनोव राष्ट्रीय निशानेबाजी टीम के साथ 11 मई को जागरेब नहीं जा पाए थे लेकिन अब वह क्रोएशिया की राजधानी में अपने खिलाड़ियों को ट्रेनिंग दे रहे हैं।

तोक्यो ओलंपिक 23 जुलाई से आठ अगस्त तक खेले जाएंगे और भारतीय निशानेबाजी टीम को प्रतिनिधित्व रिकॉर्ड 15 निशानेबाज करेंगे।

भाषा सुधीर नमिता

नमिता

 

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