लखनऊ। उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने निजी सचिव को हटा दिया है। गोपनीय पत्र लीक करने के शक के कारण ऐसा किया गया है। 16 मई को पूर्व मुख्यमंत्री मुलायम सिंह यादव ने मुलाकात के दौरान सीएम योगी को एक पत्र दिया था जो कुछ ही देर में सोशल मीडिया में वायरल हो गया था।
प्रमुख सचिव मुख्यमंत्री एसपी गोयल के कार्यालय में संबद्ध शिशुपाल के साथ विशेष सचिव मुख्यमंत्री अमित सिंह के कार्यालय में समीक्षा अधिकारी एमएम त्रिपाठी को हटाया गया है।
बताया जा रहा है कि पूर्व सीएम मुलायम सिंह यादव ने सीएम योगी से मुलाकात के दौरान पत्र दिया था। इस पत्र में पूर्व मुख्यमंत्री के तौर पर उन्हें और पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव को आवंटित आवास, विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष राम गोविंद चौधरी और विधान परिषद में नेता विरोधी दल अहमद हसन को अलॉट करने का निवेदन था।
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दोनों नेताओं के बीच ये मुलाकात बुधवार (16 मई) को हुई थी। कयास हैं कि इस मुलाकात में शासकीय आवास के मसले पर बात हुई। बता दें कि सुप्रीम कोर्ट के 7 मई को दे गए आदेश के तहत पूर्व मुख्यमंत्रियों को अपना शासकीय आवास खाली करना होगा। लेकिन कहा जा रहा है कि मुलायम अपना और बेटे अखिलेश का सरकारी बंगला खाली नहीं करना चाहते इसीलिए उन्होंने दोनों आवास अपनी ही पार्टी के नेताओं को आवंटित करवाने निवेदन किया था।
वेब डेस्क, IBC24
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