संविलियन नहीं हुआ तो होगा उग्र आंदोलन, कमेटी की रिपोर्ट पर सीएम की प्रतिक्रिया का इंतजार | Education workers again warn of movement

संविलियन नहीं हुआ तो होगा उग्र आंदोलन, कमेटी की रिपोर्ट पर सीएम की प्रतिक्रिया का इंतजार

संविलियन नहीं हुआ तो होगा उग्र आंदोलन, कमेटी की रिपोर्ट पर सीएम की प्रतिक्रिया का इंतजार

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:25 PM IST, Published Date : March 1, 2018/3:59 am IST

मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के ऐलान के बाद बजट में भी शिक्षाकर्मियों के संविलियन की घोषणा होने के बाद, छत्तीसगढ़ के शिक्षाकर्मियों की निगाहें अब मुख्यमंत्री रमन सिंह पर टिकी हुई है. 4 मार्च को मुख्यसचिव की कमेटी मुख्यमंत्री को रिपोर्ट सौंपेगी. शिक्षाकर्मियों को रिपोर्ट पर मुख्यमंत्री की प्रतिक्रिया का इंतजार है. शिक्षाकर्मी मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष संजय शर्मा ने साफ-साफ कह दिया है कि 5 मार्च तक कमेटी संविलियन पर प्रस्ताव नहीं देगी तो एक बार फिर बड़ा आंदोलन करेंगे.

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जब हौसला बढ़ा लिया ऊंची उड़ान का, तब बेकार है कद देखना आसमान का. इस शायरी को पढ़कर मध्यप्रदेश के वित्त मंत्री जयंत मलैया ने बुधवार पेश किए बजट में शिक्षा विभाग से जुड़ी घोषणाएं की और शिक्षाकर्मियों (अध्यापको) के पद को समाप्त कर शिक्षक बनाने का ऐलान किया.शिक्षक मोर्चा के प्रदेश संचालक संजय शर्मा ने कहा कि मध्य प्रदेश में मुख्यमंत्री के घोषणा के बाद वित्तमंत्री ने बजट में अध्यापक संवर्ग को समाप्त कर शिक्षक बनाने का घोषणा किया है जिससे मध्यप्रदेश के शिक्षा कर्मियों में काफी उत्साह है 

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शिक्षा बजट की घोषणा करने के साथ-साथ वित्त मंत्री जयंत मलैया ने शिक्षा और स्वास्थ्य विभाग के लिए अतिरिक्त वित्तीय व्यवस्था जुटाने की भी बात कही है जिसका सीधा सा संकेत है की सरकार शिक्षा और स्वास्थ्य को बेहतर बनाने के लिए पैसे जुटाने में जुटेगी.

  

इधर छत्तीसगढ़ के शिक्षाकर्मियों की भी निगाहें मध्य प्रदेश के बजट पर लगी हुई थी और बजट में मध्य प्रदेश के शिक्षाकर्मियों के संविलियन की घोषणा को फिर से दोहराएं जाने के बाद उनकी उम्मीद छत्तीसगढ़ के भाजपा सरकार से लगी हुई है और वे चाहते हैं कि यहां की सरकार भी जल्द से जल्द ऐसी घोषणा करें.

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लंबे समय से संविलियन की बाट जोह रहे शिक्षाकर्मी अब धीरे-धीरे फिर से अपना धैर्य खोते जा रहे हैं और सरकार के खिलाफ उनका अविश्वास सोशल मीडिया में भी दिखाई दे रहा है और 5 मार्च के बाद उनकी मुहिम और तेज होगी

शिक्षाकर्मियों की मांगों पर विचार करने के लिए मुख्य सचिव की अध्यक्षता में एक कमेटी का गठन किया गया है जिसने शिक्षाकर्मी संघों से उनकी मांगों के संबंध में दस्तावेज भी मंगाए थे और मोर्चा द्वारा अपने मांग पत्र भी पंचायत विभाग को सौंप दिया है, मोर्चा ने तो अपने मांग के साथ-साथ 157 पेज के तथ्यात्मक दस्तावेज भी सौपें हैं.

 

 

 

 

वेब डेस्क, IBC24