सीएम बघेल ने चुनाव आयोग की निष्पक्षता पर उठाए सवाल, EVM को लेकर कही ये बात | election 2019: CM BAGEL has questioned the EC's fairness, questions about EVM

सीएम बघेल ने चुनाव आयोग की निष्पक्षता पर उठाए सवाल, EVM को लेकर कही ये बात

सीएम बघेल ने चुनाव आयोग की निष्पक्षता पर उठाए सवाल, EVM को लेकर कही ये बात

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:22 PM IST, Published Date : May 21, 2019/12:26 pm IST

रायपुर। अंतिम चरण के मतदान के बाद से ही सभी दल EVM और VVPAT को लेकर सवाल खड़े कर रहे हैं। ऐसे में छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने भी तंज कसते हुए वर्तमान सरकार को घेरने की कोशिश की है।

<blockquote class=”twitter-tweet” data-lang=”en”><p lang=”hi” dir=”ltr”>चुनाव आयोग की कार्यशैली एवं निष्पक्षता पर सवाल खड़े हो गए हैं।<br><br>दल EVM के बारे में पहले भी शंका जाहिर कर चुके हैं और सत्ताधारी दल को छोड़कर सभी ने पारदर्शिता की बात की है।<br><br>सन्देह की स्थिति में पूरी गणना VVPAT से करनी चाहिए।<br><br>इस जायज़ मांग को चुनाव आयोग क्यों नहीं मान रहा है?</p>&mdash; छोटा आदमी Bhupesh Baghel (@bhupeshbaghel) <a href=”https://twitter.com/bhupeshbaghel/status/1130794229809049605?ref_src=twsrc%5Etfw”>May 21, 2019</a></blockquote>
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सीएम बघेल ने लिखा है कि चुनाव आयोग की कार्यशैली एवं निष्पक्षता पर सवाल खड़े हो गए हैं।दल EVM के बारे में पहले भी शंका जाहिर कर चुके हैं और सत्ताधारी दल को छोड़कर सभी ने पारदर्शिता की बात की है। सन्देह की स्थिति में पूरी गणना VVPAT से करनी चाहिए।इस जायज़ मांग को चुनाव आयोग क्यों नहीं मान रहा है?

<blockquote class=”twitter-tweet” data-lang=”en”><p lang=”en” dir=”ltr”>Supreme Court dismisses the petition filed by a group of technocrats seeking a direction that the number of machines subject to verification of VVPATs to be increased to 100%. A vacation bench of the Apex Court did not find any merit in the petition filed by the technocrats. <a href=”https://t.co/TEVcHf3VbL”>pic.twitter.com/TEVcHf3VbL</a></p>&mdash; ANI (@ANI) <a href=”https://twitter.com/ANI/status/1130706592708550657?ref_src=twsrc%5Etfw”>May 21, 2019</a></blockquote>
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ज्ञात हो कि मंगलवार को उच्चतम न्यायलय ने ईवीएम के साथ समस्त मतगणना को वीवीपीएटी से मिलाए जाने की मांग वाली पिटीशन को खारिज कर दिया है। मंगलवार को जस्टिस अरुण मिश्रा की पीठ ने चेन्नई स्थित संगठन ‘टेक फॉर ऑल’ द्वारा दायर याचिका पर विचार करने से इंकार कर दिया था। याचिका को नकारते हुए जस्टिस अरुण मिश्रा की पीठ ने कहा कि मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली एक बड़ी पीठ ने पहले ही मामले पर एक आदेश पारित कर चुकी है। जस्टिस मिश्रा ने कहा कि हम सीजेआई के आदेश को रद्द नहीं कर सकते हैं। यह बकवास है। याचिका पर फैसला लिया जा चुका है।

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बता दें कि लोकसभा चुनाव 2019 की मतगणना 23 मई को होनी है। तमाम विपक्षी दलों की मांग है कि कम से कम 50 प्रतिशत मतगणना का मिलान वीवीपीएटी पर्चियों से किया जाना चाहिए । इसको लेकर विपक्षी दलों की एक पिटीशन भी मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली पीठ खारिज कर चुकी है।ज्ञात हो कि लोकसभा चुनाव के नतीजों से पहले मंगलवार को विपक्षी दलों ने निर्वाचन आयोग के साथ बैठक की। विपक्ष की मांगों पर निर्वाचन आयोग ने कल (बुधवार) बैठक कर मांगों पर निर्णय लेने की बात कही है। इस दौरान विपक्षी दल के नेता 1 घंटे से ज्यादा देर तक निर्वाचन सदन में रहे। विपक्षी दलों का नेतृत्व आंध्रप्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू कर रहे थे। उनके साथ राजस्थान के सीएम अशोक गहलोत और दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल भी पहुंचे थे।

 
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