आधुनिकीकरण और विकास की होड़ में जंगल तेजी से समाप्त होते जा रहे, जंगलों को बचाने की चिंता सरकार और वन विभाग कर रहा। लेकिन जंगल है कि लगातार विलुप्त हो रहे है। लेकिन सिर्फ चिंता करने से कुछ नही होगा, कुछ करके दिखाना होगा। सतना में एक ऐसा शख्स है जिसने ऐसा करके दिखाया है, अपने मजबूत हौसलों से एक बंजर पहाड़ को न केवल हरा-भरा जंगल बना दिया बल्कि तलाब बना उसे पानीदार भी बना दिया। कभी विरान बंजर दिखने वाला पहाड़ अब 200 एकड़ के हराभरे जंगल में तब्दील हो चुका है।
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20 साल पहले सतना के लखनवाह गांव में रामपाल जो पहले अपराधी था जिसने कई बार जेल की हवा भी खायी लेकिन 20 साल पहले जेल से छूटने के बाद हृदय परिवर्तन हो गया, गांव के एक उजाड़ वीराने केमरी पहाड़ में अपना आशियाना बना लिए और गांव परिवार से विरक्त हो गया, रामपाल ने वीरान पहाड़ में हरे-भरे जंगल का सपना देखा और उसे पूरा करने की चाहत में पेड़ लगाने शुरू किया, बिना सरकारी मदद के रामपाल श्रम दान करता और पेड़ लगाता चला गया। अब आलम ये है कि बीस सालों में ये वीरान कैमरी पहाड़ घने जंगल मे तब्दील हो गया, रामपाल ने जेल से छूटने के बाद न केवल अपना नाम बदला बल्कि अपना काम भी बदल दिया, रामपाल से अपना नाम दशकंधर रख लिया, 70 वर्ष पार कर चुके रामपाल ने इस जंगल को ही अपना घर परिवार मान लिया और पेड़ो को अपनी औलाद।
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पहाड़ी के ऊपरी सतह पर एक तालाब तक बना डाला जो पेड़ों को जीवन दे रहा। दशकंधर की माने तो जेल में रहने के बाद उसे गलतियों का एहसास हुआ और वो उन्होंने वैराग्य धारण कर पेड़ांे को ही अपना सब कुछ मान लिया। रामपाल बताते है कि जब वे छोटे थे तब स्कूल में शिक्षकों की मार के डर से इसी वीरान पहाड़ में छुपा करते थे। इसके बाद वे अपराध की दुनिया में चले गए। जेल से छूटने के बाद हिम्मत और दिन रात की मेहनत से उन्होंने आज 200 एकड़ से भी ज्यादा क्षेत्र में एक विशाल हरा भरा जंगल तैयार कर डाला। अब इस जंगल में नीलगाय हिरन सहित कई जानवर दिखने लगे है गांव वाले भी अब घूमने और पिकनिक मनाने यहां आते है। स्थानीय लोग रामपाल की इस हिम्मत और मेहनत लगन वाले काम की खुले दिल से तारीफ करते है। रामपाल का त्याग और पर्यावरण के प्रति सच्ची लगन ने एक वीरान पहाड़ को हराभरा कर दिया। न कोई सरकारी मदद ली और न ही जन सहयोग एक अकेला व्यक्ति खुद पर भरोस कर दूसरों के लिए मिसाल बन गया। पर चिंता इस बात की है कि इस पहाड़ पर लाइम स्टोन और लेटराइट खनिज के अकूत भंडार है। अधादर्जन वैध खदाने संचालित है तो वहीं अबैध खदाने भी चल रही, ऐसे में आशंका है कि कही इन तैयार जंगल पर खनिज कारोबारी की नजर न लग जाये। IBC24 मृदुल पांडे़, सतना
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