बुनियादी सुविधाओं को तरस रही अमरवाड़ा की जनता, मुखर हई समस्याएं | IBC24 Special:

बुनियादी सुविधाओं को तरस रही अमरवाड़ा की जनता, मुखर हई समस्याएं

बुनियादी सुविधाओं को तरस रही अमरवाड़ा की जनता, मुखर हई समस्याएं

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:49 PM IST, Published Date : June 12, 2018/11:15 am IST

अब बात मध्य प्रदेश की अमरवाड़ा विधानसभा की…सियासी बिसात और मुद्दों से पहले एक नजर विधानसभा की प्रोफाइल पर..

छिंदवाड़ा जिले में आती है विधानसभा सीट

आदिवासी बाहुल्य क्षेत्र

कुल मतदाता-2 लाख 26 हजार 962

पुरुष मतदाता- 1 लाख 14 हजार 883

महिला मतदाता- 1 लाख 12 हजार 73

वर्तमान में विधानसभा सीट पर कांग्रेस का कब्जा

कमलेश शाह हैं कांग्रेस विधायक

अमरवाड़ा की राजनीति

चुनाव नजदीक है तो अमरवाड़ा में सियासी बिसात बिछना शुरु हो गई है…जीत-हार के गुणा-भाग में जुट गए हैं सियासी दल..तो वहीं विधायक टिकट के लिए भी दावेदार सामने आने लगे हैं ।

अमरवाड़ा विधानसभा सीट पर कांग्रेस का दबदबा नजर आता है…बीते विधानसभा चुनाव में बीजेपी के उत्तम ठाकुर को कांग्रेस के कमलेश शाह ने शिकस्त दी…अब उसी हार का बदला लेने के इरादे से चुनावी मैदान में उतरेगी बीजेपी…तो वहीं कांग्रेस इस बार भी जीत दर्ज करना चाहेगी..जीत-हार के इन समीकरणों के बीच विधायक की टिकट की रेस भी शुरु हो गई है.

बीजेपी में दावेदारों में सबसे आगे हैं उत्तम ठाकुर…बीते चुनाव में उत्तम ठाकुर ने कांग्रेस को कड़ी टक्कर दी थी..अब बात कांग्रेस की करें तो वर्तमान विधायक कमलेश शाह प्रबल दावेदार हैं…इसके अलावा कांग्रेस महिला मोर्चा की प्रदेश सचिव कामिनी शाह भी टिकट की दौड़ में हैं..अमरवाड़ा विधानसभा में भारतीय गोंडवाना गणतंत्र पार्टी के अध्यक्ष मनमोहन शाह बट्टी की भी मजबूत पकड़ है और उनका चुनाव लड़ना भी तय माना जा रहा है । 

अमरवाड़ा के मुद्दे

सियासी दौड़ में भले आगे है अमरवाड़ा लेकिन विकास की दौड़ पीछे नजर आता है..विकास तो छोड़िए बुनियादी सुविधाओं तक के लिए तरस रहे हैं लोग ।

बदहाल सड़कें दूषित पानी..और अभावों का डेरा यही पहचान है अमरवाड़ा विधानसभा की… हर तरफ समस्याओं के टापू नजर आते हैं…सबसे बड़ी समस्या है बेरोजगारी। क्योंकि रोजगार के साधन हैं ही नहीं..नतीजा पलायन के लिए मजबूर हैं लोग…जंगलों से घिरी इस विधानसभा में वनोपज का भी ग्रामीणों को उचित दाम नहीं मिल पाता। अमरवाड़ा में शिक्षा की भी हालत खराब है।

कहीं स्कूल की बिल्डिंग है तो शिक्षक नहीं अगर शिक्षक हैं तो बिल्डिंग नहीं ये हालत है शिक्षा व्यवस्था की..शिक्षा के साथ ही स्वास्थ्य सुविधाएं भी बदहाल हैं। गांवों की तो छोड़िए मुख्यालय तक में डॉक्टरों और संसाधनों की कमी है। इसके अलावा विधानसभा के करीब 70 फीसदी इलाके के लोग फ्लोराइड मिला पानी पीने को मजबूर हैं। अमरवाड़ा में रेल लाइन के लिए कई बार सर्वे हुआ लेकिन अब तक काम शुरु नहीं हो सका ।

 

वेब डेस्क, IBC24

 

 
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