इस्लामाबाद। पाकिस्तान की इमरान सरकार ने पूर्व राष्ट्रपति और पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) के सह-अध्यक्ष आसिफ अली जरदारी सहित 171 अन्य लोगों के देश छोड़ने पर पाबंदी लगा दी है। इन सबके खिलाफ सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर मनी लॉन्ड्रिंग के एक मामले में जांच चल रही है।
खबरों के मुताबिक, इसकी जानकारी इमरान कैबिनेट की बैठक के बाद सूचना मंत्री फवाद चौधरी ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में दी। उन्होंने बताया कि कैबिनेट ने पीपीपी नेता और 171 अन्य लोगों को एग्जिट कंट्रोल लिस्ट (देश छोड़कर बाहर जाने पर नियंत्रण की सूची) में शामिल करने का फैसला लिया है। इससे उन पर देश से बाहर जाने पर रोक होगी।
सूचना मंत्री चौधरी ने कहा, जरदारी जांच को गंभीरता से नहीं ले रहे हैं। उम्मीद है कि आज के बाद वह इसे गंभीरता से लेंगे। उन्होंने कहा कि यह पुराना पाकिस्तान नहीं है। अब एक-एक पैसे का हिसाब होता है। पाकिस्तान की फेडरल इनवेस्टिगेशन एजेंसी (एफआईए) और इंटेलीजेंस सर्विसेज (खुफिया विभाग) के सदस्यों के आयोग ने मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में जरदारी और उनकी बहन फरयाल तालपुर और पाकिस्तान स्टॉक एक्सचेंज के पूर्व अध्यक्ष हुसैन लवाई समेत अन्य लोगों के खिलाफ आरोपों की जांच शुरू की है।
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इन पर करीब 29 फर्जी खातों के जरिए कथित तौर पर मनी लॉन्ड्रिंग करने का आरोप है। आयोग की एक रिपोर्ट के अनुसार, जरदारी और उनके सहयोगियों ने अन्य लोगों के नाम पर 4.2 अरब रुपए (तीन करोड़ डॉलर) की हेराफेरी की।
उम्मीद है कि भारत में हर किसी के अधिकारों की…
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