खराब परफॉर्मेंस वाले मंत्रियों पर गिर सकती है गाज! कांग्रेस में मंथन का दौर जारी | Missing ministers can fall on poor performance! Brainstorming continues in Congress

खराब परफॉर्मेंस वाले मंत्रियों पर गिर सकती है गाज! कांग्रेस में मंथन का दौर जारी

खराब परफॉर्मेंस वाले मंत्रियों पर गिर सकती है गाज! कांग्रेस में मंथन का दौर जारी

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:00 PM IST, Published Date : May 25, 2019/5:01 pm IST

भोपाल। लोकसभा चुनावों में करारी शिकस्त के बाद कांग्रेस में अब मंथन का दौर चल पड़ा है। छोटा कार्यकर्ता हो या फिर कांग्रेस आलाकमान हर मोर्चे पर हार की समीक्षा हो रही है। मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री कमलनाथ ने अपने मंत्रियों-विधायकों को उनके प्रभाव वाले क्षेत्रों में हार की रिपोर्ट के साथ तलब कर लिया है। कमलनाथ कैबिनेट के 22 मंत्री ऐसे हैं, जो अपने विधानसभा क्षेत्र में भी कांग्रेस प्रत्याशी को नहीं जिता सके। आलाकमान ने खराब परफॉर्मेंस वाले मंत्रियों पर गाज गिराने की तैयारी भी कर ली है।

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मोदी की आंधी में कांग्रेस के बड़े-बड़े दिग्गज अपना घर नहीं बचा सके। लिहाजा एक तरफ जहां दिल्ली में कांग्रेस वर्किंग कमेटी की बैठक में कांग्रेस की बड़ी हार पर चर्चा हो रही है, तो वहीं मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री कमलनाथ ने भी अपने मंत्रियों को पूरी रिपोर्ट के साथ भोपाल तलब कर लिया है। दरअसल कमलनाथ कैबिनेट के 22 मंत्री ऐसे निकले जो हाल में 10 से 50 हजार के मार्जिन से विधानसभा चुनाव जीतकर आए थे, लेकिन लोकसभा चुनाव के दौरान यही मंत्री कोई बदलाव नहीं कर पाएं, हालांकि कमलनाथ कैबिनेट के 28 मंत्रियों में से 6 मंत्री ऐसे भी हैं जिन्होंने कांग्रेस की इज्जत बचाई है।

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फिलहाल अब सभी की नजरें मुख्यमंत्री कमलनाथ और आलाकमान पर है। खबरें तो ये भी हैं की खराब परफॉर्मेंस वाले मंत्रियों पर गाज गिरना तय है, वहीं कांग्रेस की अल्पमत की सरकार को गिराने का दावा करने वाली बीजेपी के डर से मुख्यमंत्री कमलनाथ निर्दलीय,सपा-बसपा के विधायकों को मंत्रीमंडल में मौका दे सकते हैं। हालांकि मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान का दावा है की जब तक कांग्रेस में गांधी परिवार का वंशवाद चलेगा तब तक कांग्रेस की ऐसे ही जग हंसाई होती रहेगी।

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लिहाजा इलेक्शन कैंपेन के वक्त कांग्रेस ने ऐसी हार की कल्पना नहीं की थी, लेकिन मोदी की सुनामी में बड़े बड़े दिग्गजों के किले ढ़ह गए। जाहिर है पार्टी हर मोर्चे पर अब समीक्षा करेगी। मंत्रियों-विधायकों के साथ होने वाली बैठक के बाद मुख्यमंत्री कमलनाथ आलाकमान को रिपोर्ट सौंपेंगे। ऐसे में सबसे बड़ा सवाल यही है कि कांग्रेस खुद को दोबारा खड़ा करने लिए क्या सर्जरी करती है।