अब तक 50 से ज्यादा स्वास्थ्यकर्मी हो चुके हैं कोरोना संक्रमित, 30 से ज्यादा दूसरे विभाग के कर्मचारी, तेजी से बढ़ रहा आंकड़ा | More Than 50 Health Department Employee Corona Positive in Chhattisgarh

अब तक 50 से ज्यादा स्वास्थ्यकर्मी हो चुके हैं कोरोना संक्रमित, 30 से ज्यादा दूसरे विभाग के कर्मचारी, तेजी से बढ़ रहा आंकड़ा

अब तक 50 से ज्यादा स्वास्थ्यकर्मी हो चुके हैं कोरोना संक्रमित, 30 से ज्यादा दूसरे विभाग के कर्मचारी, तेजी से बढ़ रहा आंकड़ा

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:30 PM IST, Published Date : June 15, 2020/11:24 am IST

रायपुर: प्रदेश में भले ही कोरोना से संक्रमित मरीजों की संख्या लगातार बढ़ रही है, लेकिन हमारे कोरोना वॉरियर्स संक्रमण रोकने सड़क से लेकर अस्पतालों तक लगातार मोर्चे पर डटे हुए हैं। वहीं अब चिंता की बात यह है कि पालयन करने वाले लोगों के साथ साथ अब प्रदेश के फ्रंट लाइन कोरोना वारियर्स के संक्रमित होने के आंकड़े लगातार बढ़ते जा रहे हैं। इनमें अस्पातलों में काम करने वाले डाक्टर, वार्ड बॉय, सफाई मित्र से लेकर हर वर्ग के हेल्थ वर्कर संक्रमण की चपेट में आ रहे हैं। साथ ही पुलिस, जिला प्रशासन के लोगों समेत पंचायत के कर्मचारी भी अब संक्रमित होने लगे हैं।

Read More: छत्तीसगढ़ के 19 जिले के 65 विकासखण्ड रेड जोन में, प्रदेश में कुल 144 कंटेनमेंट जोन, देखिए पूरी रिपोर्ट

सबसे चिंता की बात यह है कि अब कोरोना वॉरियर्स के परिजन भी संक्रमित होने लगे हैं। कोरोना वॉरियर्स माध्यम से संक्रमण अब उनके घर और कार्यालय तक पहुंचने लगा है। ये कोरोना वारियर्स अपनी जान जोखिम में डालकर, अपने घर-परिवार से दूर रहकर इलाज में जुटे हुए हैं। मेडिकल स्टाफ, पुलिस कर्मी, सरकारी कर्मचारियों समेत पत्रकारों के परिजनों को मिलों कर अब तक लगभग सौ करोना वॉरियर्स या उनके परिजन संक्रमण की चपेट में आ चुके हैं, जिनमें सबसे ज्यादा 50 से ज्यादा स्वास्थ्यकर्मी और 30 से ज्यादा दूसरे विभागों के अधिकारी-कर्मचारी हैं। यही वजह है कि बीते दिनों मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने स्वास्थ्य विभाग समेत अन्य शीर्ष अधिकारियों की बैठक लेकर उन्हें निर्देशित किया था कि हमें डॉक्टर, नर्स समेत अन्य सभी कोरोना वॉरियर्स की सुरक्षा में कहीं कोई कोताही न हो।

Read More: राहुल गांधी ने दिया ‘अल्बर्ट आइंस्टीन’ ज्ञान, बोले ‘लॉकडाउन से साबित होता है कि अज्ञानता से ज्यादा खतरनाक है अहंकार’

ये हुए संक्रमित
रायपुर एम्स के कोरोना वार्ड के डिप्टी इंचार्ज, डाक्टर,नर्स, नर्सिंग ऑफिसर, वार्ड ब्वाय, लैब टेक्निशीयन तक संक्रमित हो चुके हैं डॉ. भीमराव आंबेडकर अस्पताल की दो नर्स और एक सफाईकर्मी। चार पुलिसकर्मी, पुलिस कर्मी के बेटे और पत्नी, निजी अस्पताल की रिसेप्सनिस्ट, धोबी, मनरेगाकर्मी, एमपीडब्ल्यू भी संक्रमित हो चुके हैं। बिलासपुर- सिम्स बिलासपुर की चार डॉक्टर, नर्स बलौदाबाजार- लैब टेक्नीशियन, आरएमओ, डीईओ, पंचायत सचिव धमतरी- वार्ड आया। जांजगीर- मेडिकल ऑफिसर। कबीरधाम- आरएमए, एमएलटी। बेमेतरा- आरएमए, सीएचओ। दुर्ग- नगर निगम और पुलिस जवान। महसमुंद- पंचायत सचिव। बस्तर- डॉक्टर। मुंगेली- पंचायत सचिव, नगर निगम, गार्ड और पुलिसकर्मी। सरगुजा- रसोइया, ग्राम सचिव। कांकेर- डीईओ, मेडिकल ऑफिसर और दो आरएमए।

Read More: भीषण सड़क हादसे में 4 बच्चों सहित 9 लोगों की मौत, तेज रफ्तार ट्रक ने दो ऑटोरिक्शा को कुचला

इस वजह से संक्रमित हुए कोरोना वॉरियर्स
एम्स या फिर अन्य कोविड 19 हॉस्पिटल में भर्ती मरीजों के साथ लंबे समय तक रहने वाले स्वास्थ्यकर्मी जिनमें डॉक्टर और नर्स भी संक्रमित मिले हैं। इन्हें 14 दिन की निर्धारित शिफ्ट के प्रोटोकॉल के बाद भी क्वारंटाइन नहीं किया और न ही इनकी जांच की गई। 14 दिनों बाद घर या रुटीन ड्यूटी में लौटने के बाद जांच होने के बाद ये संक्रमित मिले, लेकिन तक तक यह और भी लोगों के संपर्क में आ चुके है।

Read More: सुशांत का ‘पवित्र रिश्ता’, साथी एक्ट्रेस के साथ नाम जुड़ा तो बस गुड कैमेस्ट्री की वजह से

पीपीई किट का फटना
कुछ मामलों में यह सामने आया कि पीपीई किट फटने की वजह से वायरस कोरोना वॉरियर्स में प्रवेश किया। यह लापरवाही दो दिन पहले माना कोविड अस्पताल से वापस आई महिला डाक्टर के मामले में भी देखने को मिली है।

Read More: राजधानी रायपुर के ये इलाके हैं कंटेनमेंट जोन, जिला प्रशासन ने जारी की सूची

डॉफिंग जोन में लापरवाही
डॉउनिंग-डॉफिंग मेडिकल टर्म है, इसका मतलब होता है पीपीई किट पहनने-उतारने वाली जगह। यह भी पाया गया कि पीपीई किट पहनते व उतारते वक्त सावधानी नहीं बरती। या निर्धारित 4 से 6 घंटे में एक से अधिक बार उतारी और पहनी गई इस दौरान लापरवाही होने या उस जगह पर व्यव्सथा नहीं होने से मेडिकल स्टाफ संक्रमण की चपेट में आ गया।

Read More: छत्तीसगढ़ में जल्द होगी निगम मंडलों में नियुक्ति, कई पद केवल भत्ते की पात्रता वाले, कांग्रेस समन्वय समिति में बनी सहमति

प्रशिक्षण का अभाव
लॉकडाउन की वजह से जिलों में पदस्थ स्वास्थ्यकर्मियों और अन्य विभागों के अधिकारियों-कर्मचारियों को जिनकी ड्यूटी कोरोना नियंत्रण कार्य में लगी हुई है, उन्हें ऑनलाइन या फिर वीडियो के जरिए प्रशिक्षण दिलवाया गया। जो संभवता पूरी तरह से स्पष्ट नहीं था। इसे भी एक कमी माना गया।

Read More: रक्षामंत्री राजनाथ सिंह का बड़ा बयान, बोले ‘इंतजार कीजिए एक दिन POK…

प्रोटोकॉल का उल्लंघन
हेल्थ वर्कर और पुलिसकर्मी प्रशिक्षण की कमी के कारण प्रोटोकाल का उल्लंघऩ कर बैठते हैं, उदाहरण के लिए मंदिर हसौद थाने में पदस्थ आरक्षक संक्रमण की चपेट में आए। जिसके बाद लेकिन लापरवाही से उसके चार साथी,दो बेटे और पत्नी भी संक्रमित हो गए। इस प्रकार मेकहारा में भर्ती किया गया युवक संक्रमित मिला जिसके बाद वहां की नर्स और सफाई मित्र भी संक्रमित हुई, सफाई मित्र इस दौरान जिला अस्पताल भी गई। जिसके बाद वहां भी संक्रमण का मामला सामने आया एक अस्पताल में दोनों ओपीडी- बिलासपुर के सिम्स अस्पताल में कोरोना ओपीडी के साथ जनरल ओपीडी भी संचालित की जा रही है। कुछ दिनों पहले गर्भवती महिला को इलाज के सिम्स लाया गया, यहां जनरल ओपीडी में जांच के बाद पता चला की महिला क्वारनटाइन सेंटर से आई है जिसके बाद उसे कोरोना वार्ड शिफ्ट किया तब तक महिला के संपर्क में अस्पातल के 15 से ज्यादा लोग आ चुके थे।

Read More: राष्ट्रीय राजधानी में कोरोना संक्रमण में विस्फोटक तेजी, उपराज्यपाल-…

 
Flowers