उत्तराखंड हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश के.एम. जोसेफ की नियुक्ति सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीश के रूप में क्यों नहीं हो सकती इसके लिए केन्द्र सरकार ने कुछ तर्क दिए हैं। जस्टिस जोसेफ की नियुक्ति पर सरकार का कहना है कि सुप्रीम कोर्ट पहुंचने की राह में उनकी वरिष्ठता रोड़ा बन रही है।
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सूत्रों से मिली जनाकारी के मुताबिक देश भर में उच्च न्यायालयों में सेवारत चीफ जस्टिस और जजों की वरिष्ठता सूची में जस्टिस जोसफ काफी निचले पायदान पर हैं। बताया जा रहा है कि तीन दर्जन जज उनसे सीनियर हैं! ऐसा नहीं है कि आज तक हमेशा नियुक्तियों में वरिष्ठता को मद्देनजर रखा गया हो, इससे पहले भी कई बार मनमानी तौर पर नियुक्तियां हो रही हैं। इसी कारण कई जजों ने इस्तीफा भी दिया है। खैर, सिर्फ वरिष्ठता ही कारण हो ऐसा नहीं हो सकता, इसका कारण राजनैतिक भी हो सकता है. क्योंकि जस्टिस जोसफ ने ही उत्तराखंड में मोदी सरकार के लगाए राष्ट्रपति शासन को रद्द कर कांग्रेस की सरकार को बहाल किया था..
वेब डेस्क, IBC24
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