नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि राम जन्मभूमि-बाबरी मस्जिद भूमि मालिकाना विवाद मामले की सुनवाई की तारीख तय करने के लिए एक नई बेंच 10 जनवरी को आदेश देगी। सुनवाई के दौरान शुक्रवार को सीजेआई रंजन गोगोई और न्यायमूर्ति एसके कौल की बेंच ने कहा कि एक उपयुक्त पीठ मामले की सुनवाई की तारीख तय करने के लिए 10 जनवरी को आगे के आदेश देगी।’
सुनवाई के लिए मामला सामने आते ही प्रधान न्यायाधीश ने कहा कि यह राम जन्मभूमि-बाबरी मस्जिद मामला है और इस पर आदेश पारित किया गया। अलग-अलग पक्षों की ओर से पेश हुए वरिष्ठ अधिवक्ता हरिश साल्वे और राजीव धवन को अपनी बात रखने का कोई मौका नहीं मिला। अयोध्या मामले की सुनवाई आज एक मिनट भी नहीं चली।
साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने अयोध्या मामले में तत्काल और रोजाना सुनवाई को लेकर दायर की गई पीआईएल को भी खारिज कर दिया। यह पीआईएल वकील हरीनाथ राम ने नवंबर 2018 में दायर की थी। इधर सुनवाई के लिए नई तारीख तय होते ही इस मसले पर नेताओं के बयान सामने आने लगे हैं। यूपी कांग्रेस अध्यक्ष राज बब्बर ने कहा है कि राम मंदिर अयोध्या में नहीं बनेगा तो कहां बनेगा, लेकिन अयोध्या में कहां बनेगा यह कोर्ट तय करेगा।
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वहीं जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री फारूक अब्दुल्ला ने कहा कि इस मुद्दे पर चर्चा होनी चाहिए, और इसे बातचीत की मेज़ पर बैठकर लोगों द्वारा हल किया जाना चाहिए। इसे कोर्ट में क्यों घसीटा जाना चाहिए। मुझे भरोसा है कि इसे बातचीत से हल किया जा सकता है। भगवान राम सारी दुनिया के हैं, सिर्फ हिन्दुओं के नहीं। उन्होंने आगे कहा कि भगवान राम से किसी को बैर नहीं है, न होना चाहिए। कोशिश करनी चाहिए सुलझाने की और बनाने की। जिस दिन यह हो जाएगा, मैं भी एक पत्थर लगाने जाऊंगा।