सदन में विपक्ष के लौटने पर सत्ता पक्ष से आई हंसी की आवाज, बृजमोहन पहले भड़के, फिर हुए भावुक | voice of laughter from ruling party on return of the opposition in the House

सदन में विपक्ष के लौटने पर सत्ता पक्ष से आई हंसी की आवाज, बृजमोहन पहले भड़के, फिर हुए भावुक

सदन में विपक्ष के लौटने पर सत्ता पक्ष से आई हंसी की आवाज, बृजमोहन पहले भड़के, फिर हुए भावुक

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 07:56 PM IST, Published Date : January 8, 2019/2:21 pm IST

रायपुर। छत्तीसगढ़ विधानसभा के शीतकालीन सत्र के दौरान मंगलवार को अनुपूरक बजट पर चर्चा हुई। इस दौरान विपक्ष ने कर्जमाफी की मांग को लेकर वॉकआउट किया। वॉकआउट के बाद विपक्ष के सदन में वापस लौटने पर सत्ता पक्ष की ओर से हंसी की आवाज आने से पूर्व कृषि मंत्री और बीजेपी सदस्य बृजमोहन नाराज हो गए। उन्होंने अध्यक्ष से इसे अपमानजनक बताते हुए कार्रवाई की मांग की।

उन्होंने कहा कि हमारी खिल्ली उड़ाना सदन और अध्यक्ष का अपमान है, ऐसा होगा तो हम सदन में नहीं आएंगे। इसके बाद विपक्ष गर्भगृह में पहुंचकर नारेबाजी करने लगा। बीजेपी सदस्यों ने अध्यक्ष की आसन्दी के सामने जाकर नारेबाजी शुरू कर दी। इस दौरान बृजमोहन ने कहा कि ये देश के इतिहास में पहली बार हुआ है।

वहीं जोगी कांग्रेस के सदस्य धर्मजीत सिंह ने कहा कि हम अंदर जाएं या बाहर, हंसी नहीं उड़ा सकते। गर्भगृह में जाने के कारण पूर्व मुख्यमंत्री डॉ रमन और नेता प्रतिपक्ष धरमलाल कौशिक समेत सभी बीजेपी सदस्य स्वमेव निलंबित हो गए। इसे देखते हुए सदन 20 मिनट के लिए स्थगित हो गया। करीब 20 मिनट स्थगित रहने के बाद सदन की कार्रवाई फिर शुरु हुई। इस दौरान विपक्ष के 4 सदस्य गर्भगृह में ही बैठे रहे। इसके बाद विधानसभा अध्यक्ष ने बीजेपी सदस्यों का निलंबन समाप्त करने की घोषणा की। उन्होंने कहा कि सदस्य एक दूसरे के मान सम्मान का ध्यान रखें।

वहीं सदन में फिर लौटने के बाद जब बृजमोहन बोलने के लिए खड़े हुए तो उनका गला भर आया। उन्होंने कहा कि मैंने 29 साल के अपने कार्यकाल में कभी ऐसा अपमान नहीं सहा। मेरे मुंह से भी कुछ बातें निकली, उसके लिए मैं खेद जताता हूं, माफी मांगता हूं। भविष्य में ऐसा होता है, तो हम शायद परम्परा को कायम नहीं रख पाएंगे।

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इसके बाद 10 हजार 395 करोड़ 58 लाख का तृतीय अनुपूरक बजट सदन में पारित हो गया। वहीं सीएम भूपेश ने मंत्रिमंडल में मंत्रियों की संख्या 15 से 20 प्रतिशत करने का संकल्प पेश किया। उन्होंने कहा कि संविधान में संशोधन के लिए समुचित पहल की जाए।