कोलकाता, 29 सितंबर (भाषा) विश्व कप और ओलंपिक से पहले के टूर्नामेंटों में रेफरी की भूमिका निभा चुके कोलकाता के पूर्व फीफा रेफरी सुमंत घोष का गुरुवार को यहां उनके आवास पर लंबी बीमारी के बाद निधन हो गया।
वह 70 वर्ष के थे। उनके परिवार में पत्नी और दो बेटे हैं।
बंगाल के एक रेफरी ने बताया, ‘‘ पिछले कुछ दिनों से उनकी तबीयत ठीक नहीं चल रही थी और आज सुबह करीब तीन बजे उन्होंने अंतिम सांस ली।’’
घोष का जन्म 10 अप्रैल 1952 को हुआ था। वह 1990 में फीफा रेफरी बने और 1997 में उन्होंने इससे संन्यास लिया।
उन्होंने विश्व कप और ओलंपिक पूर्व होने वाले टूर्नामेंटों के साथ एएफसी क्लब चैंपियनशिप, सैफ कप और जवाहरलाल नेहरू कप में रेफरी की भूमिका निभायी थी।
संन्यास के बाद घोष ‘रेफरी इंस्ट्रक्टर’ और एआईएफएफ मैच कमिश्नर बनकर खेल से जुड़े रहे।
अखिल भारतीय फुटबॉल महासंघ (एआईएफएफ) के अध्यक्ष कल्याण चौबे ने उनके निधन पर शोक जताते हुए कहा, ‘‘ यह सुनकर वास्तव में दुख हुआ कि सुमंत घोष नहीं रहे। वह भारतीय रेफरी के महानायक जैसे थे और खेल में दिया गया उनका अमूल्य योगदान हमेशा हमारे साथ रहेगा। मैं उनके परिवार के साथ इस दुख साझा करता हूं।’’
एआईएफएफ के महासचिव शाजी प्रभाकरण ने कहा, ‘‘ सुमंत घोष एक शीर्ष स्तर के रेफरी, कुशल प्रशिक्षक और मैच आयुक्त थे। फुटबॉल बिरादरी उन्हें याद करेगी। उनकी आत्मा को शांति मिले।’’
भाषा आनन्द पंत
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