रैश ड्राइविंग, बिना हेलमेट और शराब पीकर गाड़ी चलाने वालों की अब खैर नहीं, बड़ी कार्रवाई की तैयारी

रैश ड्राइविंग, बिना हेलमेट और शराब पीकर गाड़ी चलाने वालों की अब खैर नहीं, बड़ी कार्रवाई की तैयारी

  •  
  • Publish Date - November 20, 2020 / 02:41 PM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 08:41 PM IST

रायपुर। छ्त्तीसगढ़ में पिछले 10 महीने में साढ़े 3 हजार लोगों की मौत ने पुलिस की चिंता बढ़ा दी है। रायपुर, गरियाबंद, मुंगेली और बस्तर के तीन जिलों में एक्सीडेंट से सर्वाधिक मौत हुई है। इन आंकड़ों को देखते हुए छ्त्तीसगढ़ पुलिस ने अब रैश ड्राइविंग, बिना हेलमेट, शराब पीकर गाड़ी चलाने वालों और ट्रैफिक सिग्नल तोड़ने वालों पर सख्ती बरतने की तैयारी कर ली है।

पढ़ें- सार्वजनिक जगहों पर मास्क वितरित करेगी सरकार, केजरीव…

जल्द ही पुलिस प्रदेशभर में अभियान चलाकर लगातार ट्रैफिक नियमों का उलंघन कराने वालों को ट्रैस कर लाइसेंस बर्खास्त करेगी। इसके अलावा जांच के दौरान हुज्जत करने वालों को कोर्ट भी भेजा जाएगा। हम आपको बता दें कि 10 माह के भीतर छ्त्तीसगढ़ में 9097 सड़क दुर्घटनाओं में 3,543 व्यक्तियों की मृत्यु हुई है।

पढ़ें- VIDEO: मुख्यमंत्री बनने के बाद पहली बार ससुराल पहुं…

वहीं 8388 लोग घायल हुए हैं। इस अवधि में सड़क दुर्घटनाओं में रायपुर, गरियाबंद, मुंगेली, दन्तेवाड़ा, बीजापुर, नारायणपुर में सबसे ज्यादा मौतें हुई हैं, जबकि शेष जिलों में बलौदाबाजार, महासमुंद, धमतरी, दुर्ग, बालोद, राजनांदगांव, कबीरधाम, बेमेतरा, बिलासपुर, जांजगीर चांपा, कोरबा, रायगढ़, गौरला पेण्ड्रा, सरगुजा, जशपुर, सूरजपुर, बलरामपुर, कोरिया, जगदलपुर, कोण्डागांव, काॅकेर और सुकमा में मृत्यु दर में कमी आई है।

पढ़ें- उच्चकोटि का कोयला अफरातफरी का मामला, क्या फरार मुख्य आरोपियों का बचाव करने में लगी पुलिस ?

एक्सीडेंट के बढ़ते आंकड़ों के लिए नेताप्रतिपक्ष धरमलाल कौशिक ने सरकार को जिम्मेदार ठहराते हुए कहा कि जबसे कांग्रेस की सरकार आई है, सड़कों का निमार्ण कार्य बन्द पड़ा हुआ है, यहां तक कि सड़कों की मरम्मत भी नहीं हो रही है।