कोविड-19 का प्रसार रोकने में ‘लेटरल फ्लो टेस्ट’ विश्वसनीय तरीका : अध्ययन |

कोविड-19 का प्रसार रोकने में ‘लेटरल फ्लो टेस्ट’ विश्वसनीय तरीका : अध्ययन

कोविड-19 का प्रसार रोकने में ‘लेटरल फ्लो टेस्ट’ विश्वसनीय तरीका : अध्ययन

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:13 PM IST, Published Date : October 14, 2021/4:42 pm IST

लंदन, 14 अक्टूबर (भाषा) यूनिवर्सिटी कॉलेज ऑफ लंदन (यूसीएल) के अनुसंधानकर्ताओं ने बृहस्पतिवार को कहा कि कोविड-19 के प्रसार संबंधी जोखिम को जांचने के लिए ब्रिटेन के स्कूलों और कार्यस्थलों पर व्यापक रूप से इस्तेमाल किए जा रहे ‘लेटरल फ्लो टेस्ट’ (एलएफटी) पहले की जानकारी के मुकाबले अधिक सटीक हैं और इनकी सीधे इससे तुलना नहीं की जा सकती कि ‘पोलीमरेज़ चेन रिएक्शन’ (पीसीआर) किस तरह काम करती है।

‘क्लीनिकल एपिडेमियोलॉजी’ में प्रकाशित एक पत्र में वैज्ञानिकों ने उल्लेख किया है कि कोरोना वायरस संक्रमण के किसी भी स्तर का पता लगाने में एलएफटी के 80 प्रतिशत से अधिक सटीक होने की संभावना है तथा इसके साथ ही जांच के समय यह सर्वाधिक संक्रमित लोगों का पता लगाने में 90 प्रतिशत से अधिक प्रभावी हो सकता है।

पूर्व में किए गए कुछ अध्ययनों में दी गई जानकारी के मुकाबले सटीकता का यह स्तर काफी अधिक है।

अनुसंधान रिपोर्ट लिखने वाले वैज्ञानिकों का कहना है कि कोरोना वायरस के प्रसार को रोकने में यह परीक्षण एक विश्वसनीय जनस्वास्थ्य तरीका है।

भाषा नेत्रपाल मनीषा

मनीषा

 

(इस खबर को IBC24 टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)