संरा दूत ने सुरक्षा परिषद से तालिबान से शहरों पर हमले रोकने की मांग करने को कहा |

संरा दूत ने सुरक्षा परिषद से तालिबान से शहरों पर हमले रोकने की मांग करने को कहा

संरा दूत ने सुरक्षा परिषद से तालिबान से शहरों पर हमले रोकने की मांग करने को कहा

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:26 PM IST, Published Date : August 7, 2021/11:07 am IST

संयुक्त राष्ट्र, सात अगस्त (एपी) अफगानिस्तान के लिए संयुक्त राष्ट्र की दूत ने अमेरिका और नाटो सेनाओं की युद्धग्रस्त देश से वापसी के मद्देनजर तालिबान से तत्काल शहरों पर हमले रोकने की मांग करने का सुरक्षा परिषद से शुक्रवार को अनुरोध किया।

देबोरा एलयॉन्स ने अंतरराष्ट्रीय समुदाय से कहा कि वह दोनों पक्षों से लड़ाई खत्म करने और अफगानिस्तान में ‘‘तबाही’’ रोकने के लिए बातचीत करने का अनुरोध करें। उन्होंने आगाह किया कि तालिबान के ये बढ़ते हमले सीरिया युद्ध के दौरान बड़े शहरों पर हमले और 1990 के बोस्निया युद्ध की याद दिलाते हैं जिसमें बोस्निया की राजधानी सरजेवो तबाह हो गयी थी।

संयुक्त राष्ट्र में अफगानिस्तान के दूत गुलाम इसाकजई ने तालिबान के आक्रमण को ‘‘बर्बरता का जानबूझकर किया गया कृत्य’’ बताते हुए उसकी निंदा की और दावा किया कि अल-कायदा तथा इस्लामिक स्टेट समूह समेत 20 आतंकी संगठनों के 10,000 से अधिक विदेशी लड़ाके तालिबानी आतंकवादियों की मदद कर रहे हैं।

उन्होंने कहा, ‘‘यह गृह युद्ध नहीं है बल्कि अफगानियों की पीठ पीछे लड़ा गया अपराध और आतंकवादी नेटवर्क का युद्ध है।’’

काबुल में ऑनलाइन बैठक में एलयॉन्स ने सुरक्षा परिषद के सदस्यों से अफगानिस्तान को तबाही की ऐसी स्थिति में ले जाने से रोकने के लिए एकजुट होने की अपील की जिसके बहुत गंभीर परिणाम होंगे।

गौरतलब है कि तालिबान ने पिछले कुछ महीनों से अफगानिस्तान में हमले तेज कर दिए है और उसके कई हिस्सों पर कब्जा जमा लिया है। अमेरिका और नाटो सेनाओं के इस महीने के अंत तक देश से लौटने के मद्देनजर तालिबान ने कई प्रांतीय राजधानियों पर हमले शुरू कर दिए हैं।

इसाकजई ने कहा कि तालिबान फरवरी 2020 में कतर की राजधानी दोहा में अमेरिका के साथ हुए समझौते का उल्लंघन कर रहा है। इस समझौते के तहत तालिबान ने अन्य आतंकी समूहों से लड़ने और आतंकवादियों को अमेरिका पर हमले के लिए अफगानिस्तान की सरजमीं का इस्तेमाल करने से रोकने का संकल्प लिया था।

राजदूत ने दावा किया कि तालिबान और इन विदेशी आतंकी समूहों के बीच संबंध आज कहीं ज्यादा मजबूत हैं और इनके तार मादक पदार्थ की तस्करी और अफगानिस्तान के प्राकृतिक संसाधनों को लूटने से जुड़े हुए हैं।

एपी

गोला शोभना

शोभना

 

(इस खबर को IBC24 टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)