लीवरपूल टैक्सी विस्फोट मामले के पीछे पश्चिम एशियाई शरणार्थी का हाथ |

लीवरपूल टैक्सी विस्फोट मामले के पीछे पश्चिम एशियाई शरणार्थी का हाथ

लीवरपूल टैक्सी विस्फोट मामले के पीछे पश्चिम एशियाई शरणार्थी का हाथ

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:42 PM IST, Published Date : November 16, 2021/5:36 pm IST

(अदिति खन्ना)

लंदन, 16 नवंबर (भाषा) लीवरपूल में रविवार को एक महिला अस्पताल के बाहर टैक्सी बम विस्फोट में मारे गये संदिग्ध आतंकवादी की पहचान सीरियाई एवं इराकी मूल के इमाद अल स्वीलमीन में रूप में हुई है।

समझा जाता है कि इमाद अल स्वीलमीन (32) शरण लेने के लिए ब्रिटेन पहुंचा था। उसने कुछ साल पहले ईसाई धर्म ग्रहण कर लिया था।

ब्रिटेन की आतंकवाद निरोधक पुलिस ने सोमवार को कहा था कि इंग्लैंड के उत्तर-पश्चिम भाग में लीवरपूल शहर में अल स्वीलमीन के दो पते हैं।

ब्रिटेन की आतंकवाद निरोधक पुलिस ने एक बयान में कहा, ‘‘लीवरपूल में महिला अस्पताल के बाहर 14 नवंबर को हुए धमाके की जांच कर रहे आतंकवाद निरोधक जांचकर्ताओं ने उस व्यक्ति के नाम की पुष्टि की है जिसके बारे में उनका मानना है कि वह इस आतंकवादी घटना में मारा गया था। ’’

आतंकवाद निरोधक अभियान के वरिष्ठ जांच अधिकारी एंड्रू मिक्स ने कहा कि जांच बहुत तेजी से हो रही है।

उन्होंने कहा, ‘‘ लेकिन इस पड़ाव पर हमारा दृढ़ मत है कि मृतक 32 वर्षीय इमाद अल स्वीलमीन है। अल स्वीलमीन का संबंध रटलैंड एवेन्यू और सटक्लीफ स्ट्रीट पतों से है जहां तलाशी अब भी चल रही है। ’’

उन्होंने कहा, ‘‘ हमारा विश्वास है कि वह कुछ समय सटक्लीफ स्ट्रीट पर रहा और हाल में वह रटलैंड एवेन्यू आ गया था। हमारा ध्यान रटलैंड एवेन्यू वाले पते पर है जहां हमें अहम चीजें मिलती जा रही हैं। ’’ उन्होंने लोगों से इस संबंध में और जानकारियां पुलिस को देने की अपील की।

इस बीच इस विस्फोट मामले में गिरफ्तार किये गये चार व्यक्तियों को पूछताछ के बाद रिहा कर दिया । ग्रेटर मैनचेस्टर पुलिस ने यह जानकारी दी। तीन व्यक्तियों को सटक्लीफ स्ट्रीट वाले मकान से गिरफ्तार किया गया था और वे क्रमश: 29, 26 और 21 साल के हैं। चौथे को लीवरपूल के केसिंग्टन इलाके से हिरासत में लिया गया था। चारों सप्ताहांत और सोमवार को पकड़े गये थे।

सहायक मुख्य कांस्टेबल रूस जैक्सन ने कहा, ‘‘ गिरफ्तार किये गये चारों व्यक्तियों से पूछताछ के बाद हम उनकी बातों से संतुष्ट हैं और उन्हें पुलिस हिरासत से रिहा कर दिया गया है। जांच तेज गति से जारी है और जांच दल लगातार काम कर रहे हैं।’’

भाषा राजकुमार नरेश

नरेश

 

(इस खबर को IBC24 टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)