उपराज्यपाल ने लोगों से सम्मानजनक तरीकों से तिरंगों के निपटान की अपील की

उपराज्यपाल ने लोगों से सम्मानजनक तरीकों से तिरंगों के निपटान की अपील की

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  • Publish Date - August 16, 2022 / 06:07 PM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 08:49 PM IST

नयी दिल्ली, 16 अगस्त (भाषा) दिल्ली के उपराज्यपाल विनय कुमार सक्सेना ने मंगलवार को लोगों से राष्ट्रध्वजों के सम्मानजनक तरीकों से निपटान की अपील की और इसके लिए नगर निकायों द्वारा स्थापित संग्रह केंद्रों का इस्तेमाल करने का अनुरोध किया।

भारत की आजादी की 75वीं वर्षगांठ पर ‘हर घर तिरंगा’ अभियान के तहत लोगों ने 13 से 15 अगस्त तक अपने घरों पर तिरंगा फहराया।

संस्कृति मंत्रालय के अधिकारियों के अनुसार 12 अगस्त तक 20 करोड़ से अधिक तिरंगे आम लोगों के लिए उपलब्ध कराए गए थे।

दिल्ली सरकार ने कहा कि उसने शहर में 25 लाख बच्चों के बीच राष्ट्रध्वज बांटे थे।

सक्सेना ने ट्वीट किया, ”दिल्ली ने शहर को तिरंगे के रंग में रंगकर देशभक्ति के जज्बे की मिसाल पेश की। मैं आपसे अनुरोध करता हूं कि तिरंगे का सम्मान करें और सम्मान के साथ इसका निपटान करें। इस सिलसिले में एमसीडी/एनडीएमसी ने संग्रह केंद्र स्थापित किए हैं। आपसे अनुरोध है कि उनसे संपर्क करें और उनका उपयोग करें।’

अधिकारियों ने मंगलवार को बताया कि दिल्ली नगर निगम और रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन (आरडब्ल्यूए) इस्तेमाल हो चुके तिरंगों को एकत्र कर ध्वज संहिता के तहत उनके निपटान के लिए कमर कस चुके हैं।

दिल्ली नगर निगम (एमसीडी) के एक वरिष्ठ अधिकारी ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया, ”हर घर तिरंगा अभियान को मिली शानदार प्रतिक्रिया के बाद हम आने वाले दिनों में अपने क्षेत्रीय कार्यालयों के निर्धारित नियंत्रण कक्षों में बड़ी संख्या में ऐसे झंडे एकत्र होने की उम्मीद कर रहे हैं।”

उन्होंने कहा, ”प्रत्येक फटे हुए, क्षतिग्रस्त, इधर-उधर बिखरे और गंदे झंडों का गरिमामयी व सम्मानजनक तरीके से निपटान किया जाएगा।”

विभिन्न रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन के शीर्ष निकाय यूनाइटेड रेजिडेंट्स जॉइंट एक्शन ऑफ दिल्ली (यूआरजेए) ने भी इस काम में एमसीडी की मदद करने की इच्छा जतायी है।

यूआरजेए ने कहा कि प्रत्येक आरडब्ल्यूए से अनुरोध है कि यदि संभव हो तो इस्तेमाल किए गए तिरंगे को मोड़कर कागज या कपड़े में लपेट कर एक ढेर में रख दें।

यूआरजेए ने एक बयान में कहा कि जब करीब एक महीने में अधिकतर झंडे आरडब्ल्यूए के कार्यालय में जमा हो जाएं तो उन झंडों को ले जाने के लिए एमसीडी से संपर्क कर सकते हैं।

भाषा

जोहेब पवनेश

पवनेश