वंदे मातरम् सिर्फ गाने के लिए नहीं, निभाने के लिए भी होना चाहिए : अखिलेश यादव
वंदे मातरम् सिर्फ गाने के लिए नहीं, निभाने के लिए भी होना चाहिए : अखिलेश यादव
नयी दिल्ली, आठ दिसंबर (भाषा) समाजवादी पार्टी (सपा) के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने सोमवार को सत्तारूढ़ भाजपा की आलोचना करते हुए कहा कि ‘वंदे मातरम्’ सिर्फ गाने के लिए नहीं, बल्कि निभाने के लिए भी होना चाहिए, लेकिन आज के ‘‘दरारवादी’’ लोग इसी के जरिये देश को तोड़ना चाहते हैं।
अखिलेश ने लोकसभा में वंदे मातरम् पर चर्चा में भाग लेते हुए आरोप लगाया कि वर्तमान में सत्ता पक्ष के लोग हर चीज का श्रेय लेना चाहते हैं।
सपा सांसद ने कहा, ‘‘हमारे सत्ता पक्ष के लोग हर चीज का श्रेय लेना चाहते हैं…जो महापुरुष उनके नहीं हैं, या जो चीज उनकी नहीं है, उन्हें भी अपनाना चाहते हैं।’’
अखिलेश ने कहा, ‘‘वंदे मातरम् सिर्फ गाने के लिए नहीं है, निभाने के लिए भी होना चाहिए। सत्ता पक्ष के लोग आकलन करें कि हम इसे कितना निभा रहे हैं। आज के ‘दरारवादी’ लोग उसी के जरिये देश को तोड़ना चाहते हैं। ऐसे लोगों ने पहले भी देश के साथ दगा किया है, आज भी (दगा) कर रहे हैं।’’
उन्होंने सत्तारूढ़ दल पर निशाना साधते हुए कहा कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के गठन के समय उनके जो अध्यक्ष चुने गऐ थे, उन्हें जो भाषण देना था उस पर इस बात को लेकर बहस चली थी कि ‘‘भाजपा धर्मनिरपेक्ष समाजवाद के रास्ते पर जाएगी कि नहीं।’’
सपा सांसद ने भाजपा पर निशाना साधते हुए कहा कि वंदे मातरम् कोई दिखावा, या राजनीति का विषय नहीं है, लेकिन ‘‘ऐसा लगता है कि वंदे मातरम् इन्हीं (सत्तापक्ष) का बनवाया हुआ है।’’
उन्होंने सत्तारूढ़ दल पर तंज कसते हुए कहा, ‘‘जिन्होंने आजादी के आंदोलन में भाग ही नहीं लिया, वे वंदे मातरम् का महत्व क्या जानेंगे?’’
उन्होंने उत्तर प्रदेश में प्राथमिकी विद्यालयों को एकीकृत किये जाने का जिक्र करते हुए कहा कि जब हम आजाद हैं, ‘‘उत्तर प्रदेश में प्राथमिक स्कूल बंद किये जा रहे हैं। 26 हजार से अधिक स्कूल बंद हो गए।’’
उन्होंने दावा किया कि जब पीडीए (पिछड़ा, दलित और अल्पसंख्यक) समाज ने बच्चों को पढ़ाने की कोशिश की, तो भाजपा सरकार ने पढ़ने गये बच्चों और पढ़ाने गए लोगों पर मुकदमा कर दिया।
भाषा
सुभाष वैभव
वैभव

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