बोर से पानी तो नहीं, निकल रही गैस! बन गया चूल्हा, समझिए माजरा…
बोर से पानी तो नहीं, निकल रही गैस! बन गया चूल्हा, समझिए माजरा...
हटा(दमोह)। ऐसा कई बार होता है कि कोई चाहत किसी और चीज की रखे लेकिन उसे मिलती कुछ और ही चीज है। ये अलग बात है कि अनचाहे मिली हुई उस चीज का उस व्यक्ति के पास कोई उपयोग हो या न हो। दमोह जिले में हटा विकासखंड के ग्राम पंचायत मादो निवासी इस किसान के साथ ऐसा ही कुछ हुआ।
बंजर धरती, सूखती फसल से परेशान उस किसान ने उपज बढ़ाने के उद्देश्य से अपने खेत मे बोर कराया की वह पानी से अपने खेतों को सिंचित कर सकेगा। लेकिन बोरवेल से पानी के अलावा, कोयले जैसे पदार्थ का मिश्रण और ज्वलनशील गैस निकलने से किसान का परिवार सकते में आ गया। डरे सहमे किसान ने जब इसमें माचिस की तीली लगाई तो बोर से कई फीट ऊपर तक आग की लपटों ने सिद्ध कर दिया कि बोर में कोई रासायनिक ज्वलनशील गैस है जो आग पकड़ती है। पानी के साथ, गैस निकलने से किसान के परिवार ने कुछ अनोखा करने की सोची और इसको रसोई गैस के रूप में उपयोग करने का प्रयास किया।
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ग्राम पंचायत मादो निवासी दुर्गसिंह ने अपने खेत पर करीब 3 वर्ष पूर्व बोर कराया था, तभी से उसमें ज्वलनशील गैस निकल रही थी। इसकी सूचना अधिकारियों को भी दी गई लेकिन सभी ने सामान्य प्रक्रिया बताया। दुर्गसिंह के छोटे पुत्र झलकन ने इसे रसोई गैस के रूप में इस्तेमाल करने की सोची और बोर में एक छोटा पाइप डाल कर, दूर चूल्हा भट्टी बना कर इस्तेमाल करने लगा, जिससे उसके परिवार का पूरा खाना तो बनता ही है। ठंड के दिनों में लोग अलाव भी तापते हैं। छोटे पाइप को दबाकर इसे बंद कर दिया जाता है और गर्मी में जलस्तर घटने पर इस गैस की मात्रा और अधिक बढ़ जाती है।
मादो गांव के इस परिवार को अब सरकारी मदद की आशा है। यदि सरकार कुछ पहल करे तो निश्चित ही यहां गैस संयंत्र लगाया जा सकता है क्योंकि गैस अधिक मात्रा में है।
वेब डेस्क, IBC24

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