मंदिर, ‘चंदा’ और सियासी बोल ! राम के चंदे पर ‘महाभारत’

मंदिर, 'चंदा' और सियासी बोल ! राम के चंदे पर 'महाभारत'

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  • Publish Date - January 15, 2021 / 03:47 PM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 08:31 PM IST

रायपुर। देश में लाखों लोगों की श्रद्धा से जुड़े राम मंदिर के निर्माण के लिए।VHP, RSS और भाजपा ने जनसहयोग राशि जमा करने के मक्सद से देशव्यापी अभियान की शुरूआत कर दी है। राष्ट्रपति से लेकर, सांसद, मुख्यमंत्री तक अपनी ओर से चंदा देने का क्रम शुरू हो चुका है।दूसरी तरफ इसी चंदा अभियान पर छत्तीसगढ़ में सियासी वार-पलटवार भी जारी है।प्रदेश के मुख्यमंत्री ने भाजपा से पहले जमा हुए चंदे का हिसाब मांगा तो।पूर्व सीएम समेत भाजपा नेताओँ ने पूरी कांग्रेस पार्टी को रामकाज में बाधक बता दिया।यानि इस मुद्दे पर सियासी संग्राम छिड़ना तय दिखता है।

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अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के लिए RSS और बीजेपी देशव्यापी अभियान चलाकर सहयोग राशि एकत्र कर रही है।छत्तीसगढ़ में भी इस अभियान के तहत विश्व हिंदू परिषद कार्यकर्ताओं ने मोहल्लों-बस्तियों में जाकर प्रभात फेरी निकालकर लोगों से सहयोग राशि जमा करना शुरू कर दिया है।दूसरी तरफ मंदिर के चंदे को लेकर सियासी नुक्ता-चीनी वाले बयान भी तेज हो गए हैं।गुरुवार को वर्धा गांधी आश्रम से लौटे मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने राम मंदिर के लिए चंदा एकत्र करने को लेकर फिर बीजेपी पर निशाना साधा और शिलापूजन के समय बीजेपी ने जो श्रीराम मंदिर के नाम पर चंदा एकत्र किया था, उसका हिसाब मांगा ।

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जैसे ही मुख्यमंत्री ने चंदे का हिसाब मांगा।सूबे में सियासी बयानों की बाढ़ आ गई।भूपेश के बयान पर पलटवार करते हुए पूर्व सीएम रमन सिंह ने ट्वीट किया और कांग्रेस पर जवाबी हमला किया।रमन सिंह में ट्वीट में लिखा।

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रामकाज में विघ्न डालने का तो कांग्रेस का इतिहास रहा है।
पहले पूछते थे प्रभु श्री राम का अस्तित्व है क्या?
फिर पूछने लगे मंदिर की तारीख कब बताओगे?
अब मंदिर निर्माण होने लगा तो पूछते हैं चंदे का हिसाब कब दोगे?
याद रखना!
सकल विघ्न व्यापहि नहिं तेही |
राम सुकृपा बिलोकहिं जेही 

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राम मंदिर का मुद्दा जनता की भावनाओं से जुड़ा है, जाहिर है सभी सियासी दल जनभावना में संभावना तलाश रहे हैं.. ऐसे में चंदे पर शुरू हुआ ये संग्राम आखिर कहां जाकर थमेगा ये समय ही बताएगा ।