आज से सावन शुरु हो गया है और आज सावन का पहला सोमवार भी है सावन के पवित्र योग में किया गया शिव पूजन और व्रत असीम फलदाई होता है। वैज्ञानिक दृष्टि से कर्क संक्राति से सिंह संक्राति तक की अवधि में वाष्पीकरण अधिक होता है और वर्षा होती है। वर्षा से अनेकानेक वनस्पतियों का पोषण होता है। सोमवार का व्रत करने से समस्त शारीरिक, मानसिक और आर्थिक कष्ट दूर होते हैं और जीवन सुखमय हो जाता है। इस मास के सोमवार व्रतों का पालन करने से 12 महीनों के सभी सोमवार व्रतों का फल मिल जाता है…शास्त्रों के अनुसार सोमवार के व्रत तीन तरह के होते हैं। 16 सोमवार और सौम्य प्रदोष। सोमवार व्रत की विधि सभी व्रतों में समान होती है। इस व्रत को सावन माह में शुरु करना शुभ माना जाता है. पंडितों की मानें तो इस बार के सावन का काफी महत्व है। माह में पांच सोमवार पड़ रहे हैं। सावन सोमवार से ही शुरुआत हो रही है और सावन मास का अंत भी सोमवार से ही होगा। ऐसा योग सैकड़ों साल में आता है। सावन के सोमवार को बाबा भोलेनाथ की विधि विधान से पूजा करने से मनवांछित फल मिलता है।