कांग्रेस ने भी गलतियां की हैं, आने वाले समय में इसे अपनी राजनीति को बदलना होगा : राहुल गांधी

कांग्रेस ने भी गलतियां की हैं, आने वाले समय में इसे अपनी राजनीति को बदलना होगा : राहुल गांधी

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  • Publish Date - May 10, 2024 / 09:46 PM IST,
    Updated On - May 10, 2024 / 09:46 PM IST

लखनऊ, 10 मई (भाषा) कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने शुक्रवार को कहा कि कांग्रेस पार्टी ने भी गलतियां की हैं और उसे अपनी राजनीति में बदलाव करना होगा।

शुक्रवार को यहां इंदिरा गांधी प्रतिष्ठान में ‘राष्ट्रीय संविधान सम्‍मेलन’ को संबोधित करते हुए राहुल गांधी ने कहा कि सच्चाई यह है कि कांग्रेस पार्टी को आने वाले समय में अपनी राजनीति को बदलना होगा।

उन्होंने कहा ,”मैं यह भी कहना चाहता हूं कि कांग्रेस पार्टी ने भी गलतियां की हैं, मैं कांग्रेस का होते हुए भी यह कह रहा हूं।” हालांकि उन्होंने गलतियों को स्पष्ट नहीं किया।

इसके पहले उन्होंने दावा किया कि भाजपा 180 सीट से अधिक नहीं जीतेगी।

गांधी ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पर निशाना साधते हुए कहा, ”एक बात की गारंटी देता हूं कि अब जो चुनाव हो रहा है उसमें नरेन्‍द्र मोदी जी प्रधानमंत्री नहीं बन रहे हैं। आप चाहते हो तो साइन करके दे देता हूं।”

उन्होंने आरोप लगाया , ”मोदी जी की पूरी रणनीति भाई को भाई से लड़ाने की है और इस चुनाव में वह काम नहीं कर रहा है। अगर पूरी चीटिंग कर दी गयी, तो कोई बात नहीं, लेकिन उनकी पार्टी 180 (सीट) से आगे नहीं जा रही है।”

राहुल गांधी ने समाज में दो तरह के व्यक्तित्व का जिक्र करते हुए कहा , ” एक तो वे लोग होते हैं जो पूरी जिंदगी सत्‍ता के पीछे दौड़ते-दौड़ते सच्चाई को कभी स्वीकार नहीं करते। वे न अपनी सच्चाई स्वीकार करते और न किसी और की सच्चाई स्वीकार करते। और उनको एक ही चीज दिखती कि किसी न किसी तरह हमारे हाथों में सत्‍ता आ जाए, बाकी सब छोड़ों।”

उन्होंने दूसरे तरह के लोगों की व्याख्या करते हुए कहा, ”दूसरे तरीके के लोग होते जो कहते यह सच्चाई है, इसे स्वीकार कर रहा हूं।”

उन्होंने अपनी भारत जोड़ो यात्रा का जिक्र करते हुए खुद की स्थिति स्पष्ट की। गांधी ने कहा ,”सच्चाई यह है कि मैं जनता की आवाज हूं। मैं भारत जोड़ों यात्रा में समझ गया कि मैं जनता की आवाज, जनता का दुख दर्द हूं और इसके सिवा मैं कुछ हूं ही नहीं।”

कांग्रेस नेता ने कहा, ”मुझे और किसी चीज में रुचि नहीं है। अब सवाल उठता है कि आगे क्‍या करना है। किसी का नुकसान नहीं करना है, सबसे पहले हिंदुस्तान की जो सामाजिक सच्चाई है उसको देश के सामने रखना है। किसी को धमकी नहीं देनी, चोट नहीं मारना है।”

उन्होंने जातीय स्थिति स्पष्ट करने पर जोर देते हुए कहा, ”इस देश के दलित, अल्पसंख्यक, गरीब, सामान्य वर्ग, आदिवासी, पिछड़े, सबकी भागीदारी स्पष्ट करना है। अगर हमने सच्चाई रख दी तो हिंदुस्तान की राजनीति बदल जाएगी।”

राजनीति में अपना अनुभव साझा करते हुए उन्होंने कहा, ”एक सुबह उठते ही कहता है कि सत्‍ता कैसे मिलेगी लेकिन मेरी दूसरी समस्या है, मैं उसके बीच में पैदा हुआ, मेरी उसमें रुचि नहीं है।”

हालांकि उन्होंने कहा, ”वह (सत्‍ता) मेरे लिए औजार है कि उसका प्रयोग जनता की मदद के लिए कैसे करूं। वह मेरे लिए ड्रग (नशा) नहीं है। मैंने अपनी दादी की लाश देखी है, पिता की लाश देखी है।”

गांधी ने प्रधानमंत्री पर आरोप लगाया कि ”इनका लक्ष्य सार्वजनिक क्षत्र के उपक्रमों को खत्म करना है और ये दलितों पिछड़ों, आदिवासियों के रास्ते एक-एक कर खत्म कर रहे हैं। इनके नेता खुलकर कह रहे कि हम आरक्षण को खत्म कर देंगे और मैं खुलकर कह रहा कि आप आरक्षण को कभी खत्म नहीं कर सकते।”

गांधी ने कहा , ”मोदी जी जो सुपर पावर की बात करते हैं वह 90 प्रतिशत आबादी के बिना हो ही नहीं सकता है। नौकरशाही, मीडिया, न्यायपालिका, खेल में 90 प्रतिशत नहीं आएंगे तो कौन सा सुपर पावर बनने वाला है।”

उन्होंने सवाल उठाया कि ”आप अपनी 10 प्रतिशत आबादी को सुपर पावर बनायेंगे क्‍या? कौन सी दुनिया में हैं आप? सुपर पावर तो 90 प्रतिशत है।”

राहुल गांधी ने यह भी कहा, ”मोदी जी कहते है कि मैं संविधान को रद्द करना नहीं चाहता। लेकिन, जब आप सीबीआई और ईडी को लेकर राजनीति और लोकतंत्र पर आक्रमण करते हैं तो आप संविधान पर आक्रमण कर रहे होते हैं।”

उन्होंने आरोप लगाया, ”जब सभी संस्थाओं में आरएसएस के लोगों को भर रहे हो तो आप संविधान पर हमला कर रहे हैं।”

गांधी ने मोदी पर तंज कसते हुए कहा कि ”मोदी जी प्रधानमंत्री नहीं हैं, मोदी जी राजा हैं। उनको कैबिनेट से कुछ लेना देना नहीं हैं, उनको संविधान से कुछ लेना देना नहीं है। वह 21वीं सदी के राजा हैं।’’

गांधी ने कहा ”बहुत सारे अनपढ़ राजा हिंदुस्‍तान में हुए जिनमें अहंकार नहीं था, वे काम चला लेते थे, जनता की बात सुन लेते थे, ये (मोदी) किसी की नहीं सुनते।”

जब भीड़ में से एक व्यक्ति ने राहुल गांधी से पूछा कि क्या वे प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के साथ आमने-सामने बहस का निमंत्रण स्वीकार करेंगे, तो उन्होंने जवाब दिया, ‘‘मैं किसी के भी साथ, प्रधानमंत्री के साथ बहस के लिए शत प्रतिशत तैयार हूं। लेकिन मुझे पता है। प्रधानमंत्री जी मुझसे बहस नहीं करेंगे।”

उन्होंने कहा कि पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे भी बहस कर सकते हैं।

पुरानी पेंशन योजना को बहाल करने के सवाल पर राहुल गांधी ने कहा, ”हमने इसे घोषणापत्र में शामिल नहीं किया है लेकिन मामला विचार के लिए खुला है।”

सरकार द्वारा निजीकरण किए गए संस्थानों के पुन:राष्ट्रीयकरण के एक सवाल का जवाब देते हुए गांधी ने कहा, ‘यह मुश्किल होगा लेकिन हम बड़े संस्थानों के खुले तौर पर निजीकरण की अनुमति नहीं देंगे।’

भाषा आनन्द राजकुमार

राजकुमार