दुनिया में 2019 में ‘सर्दी जुकाम’ के वायरस ने ली 1,00,000 बच्चों की जान : लांसेट का अध्ययन

दुनिया में 2019 में ‘सर्दी जुकाम’ के वायरस ने ली 1,00,000 बच्चों की जान : लांसेट का अध्ययन

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  • Publish Date - May 20, 2022 / 09:10 PM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 08:08 PM IST

लंदन, 20 मई (भाषा) सर्दी-जुकाम जैसे लक्षण पैदा करने वाले सामान्य वायरस ने 2019 में दुनिया भर में पांच साल से कम उम्र के करीब 1,00,000 बच्चों की जान ली है। ‘द लांसेट’ पत्रिका में प्रकाशित नये अध्ययन में उक्त दावा किया गया है।

इस अध्ययन में पहली बार बेहद छोटे आयुवर्ग पर ‘रेसपीरेटरी सिनसिशियल वायरस’ (आरएसवी) के प्रभावों का विश्लेषण किया गया है। अध्ययन के अनुसार, 2019 में शून्य से छह महीने आयुवर्ग के 45,000 से ज्यादा बच्चों की मौत हुई है। दुनिया में आरएसवी के कारण होने वाली पांच में से एक मौत इसी आयुवर्ग में होती हैं।

अनुसंधान के सह-लेखक हरीश नायर ने कहा, ‘‘आरएसवी छोटे बच्चों में श्वसन संबंधी बीमारी का मुख्य कारण है और हमारे तात्कालीक अनुमान के अनुसार छह महीने या उससे कम आयु के बच्चे इससे ज्यादा संवेदनशील हैं।’’ नायर ब्रिटेन के एडिनबर्ग विश्वविद्यालय से जुड़े हुए हैं।

उन्होंने कहा कि खास तौर से ऐसे में जब ‘‘दुनिया भर में कोविड-19 पाबंदियों से छूट मिलने के कारण संक्रमण के मामले बढ़ रहे हैं और पिछले दो साल में जन्मे बच्चों का आरएसवी से वास्ता नहीं पड़ा है (ऐसे में उनमें इस वायरस के खिलाफ रोग प्रतिरोधक क्षमता विकसित नहीं हुई है)।’’

अनुसंधानकर्ता ने कहा कि आरएसवी के तमाम टीके हैं और प्राथमिकता के आधार पर टीका किसे लगाया जाए, यह तय किया जा रहा है।

उन्होंने बताया कि प्राथमिकता वाले समूहों में गर्भवती महिलाएं भी शामिल हैं ताकि नवजात बच्चों का इससे बचाव हो सके।

भाषा अर्पणा उमा

उमा