Diwali 2023: वनवास काटकर लौटे श्री राम, तो दिवाली पर क्यों होती है मां लक्ष्मी की पूजा, यहां जानें कारण

Diwali 2023: सवाल यह है कि आखिर जब भगवान राम इस दिन अपना वनवास काटकर अयोध्या लौटे थे, तो फिर दिवाली पर मां लक्ष्मी और गणेश जी की पूजा क्यों

Diwali 2023: वनवास काटकर लौटे श्री राम, तो दिवाली पर क्यों होती है मां लक्ष्मी की पूजा, यहां जानें कारण

Diwali 2023

Modified Date: November 12, 2023 / 10:13 am IST
Published Date: November 12, 2023 10:13 am IST

नई दिल्ली : Diwali 2023: हिंदू धर्म में हर साल कार्तिक-मास की कृष्ण पक्ष की अमावस्या को दिवाली का त्योहार मनाया जाता है। पूरे भारत में या भारत के बाहर जहां कहीं भी हिंदू धर्म के लोग रहते हैं, वहां यह त्योहार बड़े ही धूम-धाम से मनाया जाता है। दरअसल, हम सभी यह त्योहार इसलिए मनाते हैं क्योंकि इस दिन भगवान राम रावण वध करके और अपना 14 साल का वनवास काटकर अपनी पत्नी सीता और अपने छोटे भाई लक्ष्मण के साथ अयोध्या लौटे थे। वहीं, भगवान के लौटने पर अयोध्यावासियों ने उनका स्वागत दीप जलाकर किया था। इसलिए इस दिन हम अपने घरों में भी दिये जलाते हैं। लेकिन सवाल यह है कि आखिर जब भगवान राम इस दिन अपना वनवास काटकर अयोध्या लौटे थे, तो फिर दिवाली पर मां लक्ष्मी और गणेश जी की पूजा क्यों की जाती है? दरअसल, इसकी वजह बहुत से लोग नहीं जानते, लेकिन आज हम आपको इसके पीछे की वजह विस्तार से बताएंगे।

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इसलिए होती है दिवाली के दिन मां लक्ष्मी की पूजा

Diwali 2023:  दरअसल, हिंदू पौराणिक कथाओं के अनुसार, ऐसा कहा जाता है कि दिवाली की रात वही रात होती है, जिस दिन मां लक्ष्मी ने भगवान विष्णु को अपने पति के रूप में चुना था और इसी दिन मां लक्ष्मी और भगवान विष्णु की शादी हुई थी। वहीं, मां लक्ष्मी को धन की देवी कहा जाता है और मां लक्ष्मी इसी दिन हमारे घरों में प्रवेश करती हैं। यही कारण है कि इस दिन मां लक्ष्मी और गणेश जी की पूजा की जाती है, ताकि घर में धन-संपदा और शांति आए।

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दिवाली मनाने का राज समुद्र मंथन से भी जुड़ा

Diwali 2023:  इसके अलावा एक कथा यह भी है कि जब देवताओं और असुरों के बीच समुद्र मंथन चला, तो उसमें से एक दिन मां लक्ष्मी प्रकट हुईं। बता दें कि मां लक्ष्मी समुद्र मंथन के दौरान जिस दिन प्रकट हुईं, तो उस दिन कार्तिक मास की कृष्ण पक्ष की अमावस्या थी। समुद्र मंथन से निकलकर मां लक्ष्मी भगवान विष्णु के पास चली गईं, जिसके बाग सभी देवता असुरों के मुकाबले अधिक बलशाली हो गए। इसलिए भी इस दिन मां लक्ष्मी की पूजी की जाती है।

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