सरकार ने एथनॉल निर्माताओं को 23 लाख टन एफसीआई चावल बेचने की अनुमति दी

सरकार ने एथनॉल निर्माताओं को 23 लाख टन एफसीआई चावल बेचने की अनुमति दी

सरकार ने एथनॉल निर्माताओं को 23 लाख टन एफसीआई चावल बेचने की अनुमति दी
Modified Date: August 29, 2024 / 10:26 pm IST
Published Date: August 29, 2024 10:26 pm IST

नयी दिल्ली, 29 अगस्त (भाषा) सरकार ने बृहस्पतिवार को भारतीय खाद्य निगम (एफसीआई) के भंडार से अनाज आधारित एथनॉल डिस्टिलरी को 23 लाख टन तक चावल बेचने की अनुमति दे दी। इसके साथ ही पिछले साल इस पर लगाई गई रोक हट गई।

एक निर्देश के अनुसार, खाद्य मंत्रालय ने एथनॉल उत्पादकों को खुली बाजार बिक्री योजना (ओएमएसएस) के तहत ई-नीलामी में भाग लेने और अगस्त और अक्टूबर, 2024 के बीच चावल खरीदने की अनुमति दी है।

यह फैसला ऐसे समय में आया है जब सरकार 540 लाख टन से अधिक अधिशेष चावल के भंडार की समस्या से जूझ रही है, जिससे आगामी फसल के लिए भंडारण स्थान बनाने के प्रयास तेज हो गए हैं।

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मंत्रालय ने कहा, “एथनॉल डिस्टिलरी को उठाने के लिए अधिकतम 23 लाख टन की अनुमति दी जा सकती है।”

एथनॉल बनाने वाली कंपनियां साप्ताहिक ई-नीलामी के जरिए चावल खरीद सकती हैं। चावल खरीद तेल विनिर्माण कंपनियों द्वारा एथनॉल आवंटन के अधीन है।

सरकार ने जुलाई, 2023 में एथनॉल उत्पादन के लिए चावल की बिक्री रोक दी थी।

एफसीआई पिछले जुलाई से अधिशेष सूची का प्रबंधन करने के लिए निजी व्यापारियों को चावल की बिक्री के लिए ई-नीलामी आयोजित कर रहा है।

यह कदम जैव ईंधन उत्पादन के लिए खाद्यान्नों के उपयोग पर सरकार के रुख में बदलाव का संकेत देता है क्योंकि यह खाद्य सुरक्षा चिंताओं को अतिरिक्त भंडार प्रबंधन की आवश्यकता के साथ संतुलित करता है।

भाषा राजेश राजेश अनुराग रमण

रमण


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