देखिए अडानी ग्रुप ने क्यों किया 6,071 करोड़ का समझौता, सार्वजनिक क्षेत्र के बने तीसरे खिलाड़ी

अडाणी समूह ने गुजरात के मुद्रा में दस लाख टन के सालाना उत्पादन वाली यूनिट की स्थापना के लिए बैंकों से कर्ज की व्यवस्था की है।

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  • Publish Date - June 27, 2022 / 03:16 PM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 07:54 PM IST

नई दिल्ली : अडानी ग्रुप तांबे में बड़ा निवेश करने जा रहा है। अडाणी समूह ने गुजरात के मुद्रा में दस लाख टन के सालाना उत्पादन वाली यूनिट की स्थापना के लिए सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों से कर्ज की व्यवस्था की है। अडाणी समूह ने एक बयान में कहा, ‘‘अडाणी एंटरप्राइजेज लिमिटेड की अनुषंगी कच्छ कॉपर लिमिटेड कॉपर रिफायनरी प्रोजेक्ट की स्थापना कर रही है।>>*IBC24 News Channel के WhatsApp  ग्रुप से जुड़ने के लिए Click करें*<<

कितने चरणों में बनने जा रहा यह प्लांट

दो चरणों में बनने वाला यह प्लांट हर साल दस लाख टन रिफाइंड तांबे का उत्पादन करेगा।’’ बयान में कहा गया कि इस परियोजना के लिए भारतीय स्टेट बैंक की अगुआई में बैंकों के एक गठबंधन से कर्ज मिला है। केसीएल परियोजना के पांच लाख टन की क्षमता वाले पहले चरण के लिए बैंकों के इस गठजोड़ ने 6,071 करोड़ रुपये की कर्ज आवश्यकता के लिए समझौता किया और इसे मंजूरी भी दी। अडाणी एंटरप्राइजेज लिमिटेड के निदेशक विनय प्रकाश ने कहा कि इस परियोजना का परिचालन वर्ष 2024 की पहली छमाही में शुरू हो जाएगा।

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Adani Group:कोविड के बाद से दुनियाभर में तांबे की डिमांड काफी बढ़ गई है। इन्वेस्टमेंट बैंक गोल्डमैन सैस का कहना है कि यह इंडस्ट्रियल कमोडिटी एक ऐसे नए सुपर साइकल में है, जो साल 2004 से 2011 के बीच देखने को मिली थी। भारत की बात करें तो यहां तांबा बाजार में अधिक बड़े प्लेयर्स नहीं हैं। इसलिए यहां तांबा बाजार में अच्छे मौके हैं। स्टरलाइट कॉपर के बंद होने के बाद से भारत इस धातु का शुद्ध आयातक बन गया है। मीडिया रिपोर्टों के अनुसार, इससे पहले लगभग दो दशकों तक देश तांबे का शुद्ध निर्यातक था।

अडानी ग्रुप बना तीसरा खिलाड़ी
Adani Group:इस निवेश के साथ, अडानी समूह भारत में तांबा बाजार में निजी क्षेत्र का तीसरा महत्वपूर्ण खिलाड़ी बन जाएगा। अन्य दो आदित्य बिड़ला समूह के हिंडाल्को और वेदांता समूह के स्टरलाइट कॉपर हैं। सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनी हिंदुस्तान कॉपर लिमिटेड इस सेक्टर की एक महत्वपूर्ण कंपनी है।

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Adani Group:पिछले हफ्ते वेदांता ने स्टरलाइट कॉपर को बिक्री के लिए रखा था। 0.4 एमटीपीए तांबा स्मेल्टर चार साल से थोड़े अधिक समय से बंद है। इसका कारण कथित प्रदूषण को लेकर स्थानीय लोगों के हिंसक विरोध प्रदर्शन हैं। वेदांता ने दावा किया था कि प्लांट भारत की तांबे की 40% मांग को पूरा करता है।