Bilaspur MEMU Train Collision: करीब 80 किमी/प्रतिघंटे की रफ़्तार से बिलासपुर की तरफ आ रही थी मेमू ट्रेन.. लोको-पायलट्स को अचानक दिखी ट्रैक पर मालगाड़ी और फिर..

Bilaspur MEMU Train Collision Reason: बिलासपुर रेल हादसे मामले में जॉइंट फाइंडिंग रिपोर्ट सामने आ गई है। सुपरवाइजरी जांच रिपोर्ट में प्राथमिक तौर पर ट्रेन क्रू मेंबर हादसे के लिए जिम्मेदार पाए गए हैं। लोकल ट्रेन के क्रू मेंबर ने डेंजर सिग्नल क्रॉस किया था।

Bilaspur MEMU Train Collision: करीब 80 किमी/प्रतिघंटे की रफ़्तार से बिलासपुर की तरफ आ रही थी मेमू ट्रेन.. लोको-पायलट्स को अचानक दिखी ट्रैक पर मालगाड़ी और फिर..

Bilaspur MEMU Train Collision Reason || Image- IBC24 News File

Modified Date: November 6, 2025 / 02:00 pm IST
Published Date: November 6, 2025 1:39 pm IST
HIGHLIGHTS
  • सिग्नल खराबी की जांच जारी
  • लोको पायलट्स ने लगाई इमरजेंसी ब्रेक
  • हादसे में 12 लोगों की मौत

Bilaspur MEMU Train Collision Reason: बिलासपुर: गतौरा रेलवे लाइन के पास मंगलवार को एक भीषण रेल दुर्घटना सामने आई थी। यहाँ शाम करीब 4 बजे कोरबा से आ रही मेमू ट्रेन, अपने सामने चल रही एक मालगाड़ी से जा टकराई थी। इस हादसे में मेमू ट्रेन का पहला कंट्रोल बोगी मालगाड़ी के ऊपर जा चढ़ा। यह महिला बोगी भी थी, जिस पर बने पैमाने पर यात्री सवार थे। हादसे में अब तक 12 लोगों के मौत की पुष्टि हो चुकी है।

जांच में हुए कई अहम खुलासे

रेल विभाग इस हादसे की पूरी गंभीरता से जांच में जुटा है। शुरुआती इन्वेस्टिगेशन में यह बात तय हो गई थी कि, लोको पायलट्स ने रेड सिग्नल ओवरशूट किया था, यानी उन्होंने सिग्नल की अनदेखी करते हुए ट्रेन ट्रैक पर आगे बढ़ा दिया था। हालांकि रेलवे अब इस बातकी जाँच कर रहा है कि, ऐसा कैसे सम्भव है कि, लोको पायलट्स ने रेड सिग्नल की अनदेखी की? सवाल यह भी उठ रहे है कि, हो सकता है सिग्नल में ही कोई खराबी हो और वह गलत संकेत दे रहा हो।

हालांकि हादसे का शिकार हुए मेमू ट्रेन के डेटा बॉक्स से जो जानकारियां सामने आई है। शुरुआती जानकारी के मुताबिक़ टक्कर से पहले मेमू ट्रेन की स्पीड 76 किलोमीटर प्रतिघंटे थी, जबकि मालगाड़ी की सबसे पीछे वाले बोगी से टकराने के दौरान यह गति 48 किमी प्रति घंटे पर आ गई थी। रफ़्तार में यह कमी इमरजेंसी ब्रेक लगाने की वजह से आई थी। बताया गया है कि, टक्कर से पहले लोको पायलट्स ने इमरजेंसी ब्रेक अप्लाई किया था। यही वजह है कि, ट्रेन अपेक्षाकृत कम रफ्तार के साथ मालगाड़ी की बोगी से टकराई और ट्रेन के सामने की बोगी और उसमें सवार यात्रियों को ही नुकसान हुआ। रेलवे के मुताबिक़ अगर लोको पायलट्स ने इमरजेंसी ब्रेक नहीं लगाया होता और ट्रेन की गति बरक़रार रहती तो नुकसान और भी भीषण हो सकता था।

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दर्ज किया गया मामला

Bilaspur MEMU Train Collision Reason: बिलासपुर ट्रेन दुर्घटना के एक दिन बाद छत्तीसगढ़ पुलिस ने बुधवार को भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस) की विभिन्न धाराओं के तहत तोरवा थाने में मामला दर्ज किया और जांच शुरू कर दी। पुलिस ने बताया है कि, रेलवे अधिकारी द्वारा प्रस्तुत सूचना के आधार पर मामला दर्ज किया गया। बिलासपुर के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक (एसपी) राजेंद्र जायसवाल ने बताया कि मंगलवार को हुई एक घटना में 12 लोगों की मौत हो गई और अठारह घायल हुए है। यह घटना तोरवा थाना क्षेत्र में घटित हुई थी। एसपी जायसवाल ने एएनआई को बताया, “रेलवे अधिकारी द्वारा दी गई सूचना के आधार पर तोरवा पुलिस स्टेशन में बीएनएस और रेलवे की विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज कर लिया गया है और मामले को जांच में ले लिया गया है।”

हादसे का वीडियो वायरल

इस रेल हादसे से जुड़े कई वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहे है, जिसमे देखा जा सकता है कि, किस तरह से मेमू ट्रेन की पहली बोगी मालगाड़ी के सबसे आखिर डिब्बे से टकराकर सीधे ऊपर जा चढ़ी। वही हादसे का एक नया वीडियो भी सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा। यह वीडियो हादसे के कुछ सेकेण्ड बाद का है जिसे किसी यात्री ने अपने मोबाइल के कैमरे से कैद किया है।

इस वीडियो में देखा जा सकता है कि, टक्कर के तत्काल बाद यात्रियों के बीच अफरा-तफरी मच गई और सभी ट्रेन की दुर्घटनाग्रस्त बोगी से कूदकर भागते दिखाई दे रहें हैं। यात्रियों को समझ ही नहीं आता कि, आखिर हुआ क्या है। इस वीडियो को ‘अरपा सन्देश‘ नाम के इंस्टाग्राम आईडी से पोस्ट किया गया है।

 

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मृत छात्रा का शव पहुंचा गृहग्राम

Bilaspur MEMU Train Collision Reason: इस हादसे में जान गंवाने वाले 12 सवारियों में जांजगीर-चाम्पा जिले की एक कॉलेज स्टूडेंट भी शामिल थी। मृतका का नाम प्रिया चंद्रा है और वह बिलासपुर के गुरु घासीदास सेन्ट्रल यूनिवर्सिटी में बीएससी प्रथम वर्ष की छात्रा थी। कल रेलवे ने प्रिय के शव को सुरक्षिरत तरीके से बाहर निकलकर अपनी कस्टडी में ले लिया था, वही आज शव को जब उसके गृहग्राम बहेराडीह भेजा गया तो पूरा गांव शोक में डूब गया। सभी की आँखे नम थी और शोक के बीच ही प्रिया के शव का अंतिम संस्कार किया गया। वही गुरु घासीदास सेन्ट्रल यूनिवर्सिटी ने भी होने सोशल मीडिया पेज ‘एक्स’, फेसबुक और इंस्टाग्राम पर मृत स्टूडेंट प्रिया चंद्रा को श्रद्धांजलि अर्पित किया है।

किया गया आर्थिक सहायता राशि का ऐलान

इस घटना के बाद रेल मंत्री समेत प्रदेश के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने गहरी संवेदना जाहिर की। सीएम ने वीडियो कॉल के माध्यम से पूरे हादसे की जानकारी ली और मृतकों व घायलों के लिए तात्कालिक सहायता राशि का ऐलान किया। राज्य सरकार की ओर से बताया गया कि इस हादसे में मारे गए लोगों के परिजनों को 5 लाख रुपये, जबकि गंभीर और आंशिक तौर पर घायल यात्रियों को 50 हजार रुपये की सहायता राशि दी जाएगी। हालांकि सरकार के इस ऐलान पर सियासत शुरू हो गई है।

कांग्रेस ने कहा: ‘मुआवजा अपर्याप्त’

दरअसल, प्रदेश कांग्रेस कमेटी के मुखिया दीपक बैज ने सरकार के इस फैसले पर ऐतराज जताया है। उन्होंने मुआवजे की राशि बढ़ाने की मांग की है। उन्होंने इस राशि को अपर्याप्त बताया। पीसीसी ने घायलों को 50 लाख और मृतकों के परिजनों को 1 करोड़ रुपये का मुआवजा देने की मांग रखी है। उन्होंने साफ किया है कि कांग्रेस इस हादसे पर राजनीति नहीं कर रही, बल्कि पीड़ित परिवारों के हक के साथ खड़ी है। दीपक बैज ने कहा कि यात्री सुविधाओं को डबल इंजन सरकार ने उपेक्षित करके रखा है। आज यात्री ट्रेनें भगवान भरोसे हैं, इसलिए जिम्मेदारों पर कार्रवाई होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि डबल इंजन सरकार रेलवे सिस्टम के मामले में फेल रही है। इस घटना के लिए राज्य और केंद्र सरकार दोनों जिम्मेदार हैं।

घायलों से मिले डिप्टी सीएम

Bilaspur MEMU Train Collision Reason: इस घटना के बाद उपमुख्यमंत्री अरुण साव ने आज बिलासपुर के विभिन्न अस्पतालों का दौरा कर रेल हादसे में घायल मरीजों के स्वास्थ्य की जानकारी ली। उन्होंने घायलों से मुलाकात कर उनके जल्द स्वस्थ होने की कामना की। साव ने अस्पताल में डॉक्टरों से चर्चा की और घायलों के बेहतर इलाज के निर्देश दिए। उपमुख्यमंत्री अरुण साव ने सभी अस्पतालों का दौरा कर घायलों से मुलाकात की और उनके परिजनों को ढांढस बंधाया। महापौर पूजा विधानी, कलेक्टर संजय अग्रवाल, एसपी रजनेश सिंह, नगर निगम आयुक्त अमित कुमार और जिला पंचायत सीईओ संदीप अग्रवाल भी इस दौरान उनके साथ थे।

ट्रेन क्रू मेंबर हादसे के लिए जिम्मेदार!

बिलासपुर रेल हादसे मामले में जॉइंट फाइंडिंग रिपोर्ट सामने आ गई है। सुपरवाइजरी जांच रिपोर्ट में प्राथमिक तौर पर ट्रेन क्रू मेंबर हादसे के लिए जिम्मेदार पाए गए हैं। लोकल ट्रेन के क्रू मेंबर ने डेंजर सिग्नल क्रॉस किया था। वहीं, कमिश्नर ऑफ रेलवे सेफ्टी (सीआरएस) स्तर की जांच कमेटी बनाई गई है। यानी, रेल संरक्षा आयुक्त पूरे मामले की जांच करेंगे, जिसके बाद ही पूरी वस्तुस्थिति का पता चल सकेगा।

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