Raipur News: छत्तीसगढ़ में मंत्रियों और पुलिस अधिकारियों को गॉर्ड ऑफ ऑनर दिए जाने की परंपरा खत्म, औपनिवेशिक परंपरा में ऐतिहासिक बदलाव

Raipur News: गृहमंत्री विजय शर्मा ने स्वयं विभाग के अधिकारियों को गार्ड ऑफ ऑनर की वर्तमान व्यवस्था की समीक्षा कर इसमें वर्तमान स्थिति में आवश्यकतानुसार बदलाव करने के निर्देश दिए थे

Raipur News: छत्तीसगढ़ में मंत्रियों और पुलिस अधिकारियों को गॉर्ड ऑफ ऑनर दिए जाने की परंपरा खत्म, औपनिवेशिक परंपरा में ऐतिहासिक बदलाव
Modified Date: December 24, 2025 / 10:10 pm IST
Published Date: December 24, 2025 10:03 pm IST
HIGHLIGHTS
  • राष्ट्रीय एवं राजकीय आयोजनों में यथावत व्यवस्था
  • प्रशासनिक सुधारों की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम
  • उपमुख्यमंत्री विजय शर्मा की पहल से औपनिवेशिक परंपरा में बदलाव

रायपुर: Raipur News, छत्तीसगढ़ राज्य के मंत्रीगणों और पुलिस के आला अधिकारियों को सामान्य दौरे, निरीक्षण, भ्रमण के दौरान गार्ड ऑफ ऑनर दिए जाने की औपनिवेशिक परंपरा को समाप्त कर दिया गया है। गृह विभाग द्वारा गार्ड ऑफ ऑनर के नियमों में संशोधन किए जाने का आदेश जारी कर दिया गया है, जो तत्काल प्रभाव से लागू होगा।

उपमुख्यमंत्री एवं गृहमंत्री विजय शर्मा की विशेष पहल पर गृह विभाग ने गार्ड ऑफ ऑनर की औपनिवेशिक काल से चली आ रही परंपरा की समीक्षा करने के उपरांत इसमें संशोधन का आदेश जारी किया है। इसका उद्देश्य पुलिस बल की कार्यक्षमता का उपयोग कानून व्यवस्था को बेहतर बनाने और औपनिवेशिक सोच से जुड़ी परंपराओं को समाप्त करना है।

गौरतलब है कि गृहमंत्री विजय शर्मा ने स्वयं विभाग के अधिकारियों को गार्ड ऑफ ऑनर की वर्तमान व्यवस्था की समीक्षा कर इसमें वर्तमान स्थिति में आवश्यकतानुसार बदलाव करने के निर्देश दिए थे। जिसके परिपालन में गृह विभाग ने पुलिस बल को अनावश्यक औपचारिकताओं से मुक्त कर उनकी कार्यक्षमता का उपयोग उनके मूल दायित्वों के पालन के लिए यह संशोधन किया है।

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सामान्य दौरों में सलामी गारद समाप्त

Raipur News, जारी आदेश के तहत राज्य के भीतर सामान्य दौरों, आगमन-प्रस्थान एवं निरीक्षण के दौरान अब गृहमंत्री, समस्त मंत्रीगण, पुलिस महानिदेशक सहित अन्य वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों को सलामी गारद (गार्ड ऑफ ऑनर) नहीं दिया जाएगा। जिला भ्रमण, दौरे या निरीक्षण के समय पूर्व में प्रचलित सलामी व्यवस्था को पूर्णतः समाप्त कर दिया गया है। इससे पुलिस बल का समय और ऊर्जा का प्रभावी उपयोग सुरक्षा, कानून-व्यवस्था तथा जनसेवा के कार्यों में हो सकेगा।

राष्ट्रीय एवं राजकीय आयोजनों में यथावत व्यवस्था

यह प्रतिबंध राष्ट्रीय और राजकीय समारोहों पर लागू नहीं होगा। गणतंत्र दिवस (26 जनवरी), स्वतंत्रता दिवस (15 अगस्त), शहीद पुलिस स्मृति दिवस (21 अक्टूबर), राष्ट्रीय एकता दिवस (31 अक्टूबर), राजकीय समारोहों तथा पुलिस दीक्षांत परेड जैसे अवसरों पर औपचारिक सलामी गारद की व्यवस्था पूर्ववत रहेगी।

संवैधानिक पदों के लिए प्रोटोकॉल जारी

आदेश में यह भी स्पष्ट किया गया है कि प्रोटोकॉल के अनुसार संवैधानिक पदों पर आसीन महानुभावों एवं विशिष्ट अतिथियों के लिए सलामी गारद की व्यवस्था पहले की तरह यथावत रहेगी। यह निर्णय शासन की प्रशासनिक सुधारों के प्रति प्रतिबद्धता और आधुनिक, जनोन्मुखी व्यवस्था की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है, जिससे पुलिस बल की कार्यक्षमता में सकारात्मक सुधार होगा।

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लेखक के बारे में

डॉ.अनिल शुक्ला, 2019 से CG-MP के प्रतिष्ठित न्यूज चैनल IBC24 के डिजिटल ​डिपार्टमेंट में Senior Associate Producer हैं। 2024 में महात्मा गांधी ग्रामोदय विश्वविद्यालय से Journalism and Mass Communication विषय में Ph.D अवॉर्ड हो चुके हैं। महात्मा गांधी अंतरराष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय वर्धा से M.Phil और कुशाभाऊ ठाकरे पत्रकारिता एवं जनसंचार विश्वविद्यालय, रायपुर से M.sc (EM) में पोस्ट ग्रेजुएशन किया। जहां प्रावीण्य सूची में प्रथम आने के लिए तिब्बती धर्मगुरू दलाई लामा के हाथों गोल्ड मेडल प्राप्त किया। इन्होंने गुरूघासीदास विश्वविद्यालय बिलासपुर से हिंदी साहित्य में एम.ए किया। इनके अलावा PGDJMC और PGDRD एक वर्षीय डिप्लोमा कोर्स भी किया। डॉ.अनिल शुक्ला ने मीडिया एवं जनसंचार से संबंधित दर्जन भर से अधिक कार्यशाला, सेमीनार, मीडिया संगो​ष्ठी में सहभागिता की। इनके तमाम प्रतिष्ठित पत्र पत्रिकाओं में लेख और शोध पत्र प्रकाशित हैं। डॉ.अनिल शुक्ला को रिपोर्टर, एंकर और कंटेट राइटर के बतौर मीडिया के क्षेत्र में काम करने का 15 वर्ष से अधिक का अनुभव है। इस पर मेल आईडी पर संपर्क करें anilshuklamedia@gmail.com