बीएलओ मंच ने बंगाल सीईओ कार्यालय के बाहर किया प्रदर्शन, असली मतदाताओं को सूची से हटाने का आरोप
बीएलओ मंच ने बंगाल सीईओ कार्यालय के बाहर किया प्रदर्शन, असली मतदाताओं को सूची से हटाने का आरोप
कोलकाता, 16 दिसंबर (भाषा) पश्चिम बंगाल में बूथ-स्तरीय अधिकारियों (बीएलओ) के एक मंच के लगभग 200 सदस्यों ने एसआईआर के तहत मसौदा मतदाता सूची से हजारों वास्तविक मतदाताओं के नाम कथित रूप से हटाए जाने के विरोध में मंगलवार को यहां मुख्य चुनाव अधिकारी (सीईओ) के कार्यालय के बाहर प्रदर्शन किया।
‘बीएलओ ओइक्यो मंच’ (बीएलओ एकता मंच) के सदस्यों ने निर्वाचन आयोग के खिलाफ नारे लगाए और आरोप लगाया कि आयोग की ‘केंद्र में सत्तारूढ़ भाजपा सरकार के साथ मिलीभगत’ है।
अधिकारियों ने बताया कि निर्वाचन आयोग ने मंगलवार को विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) के बाद पश्चिम बंगाल की मतदाता सूची का मसौदा प्रकाशित किया, जिसमें मृत्यु, पलायन और जनगणना प्रपत्र जमा न करने समेत विभिन्न कारणों से 58 लाख से अधिक मतदाताओं के नाम हटा दिए गए हैं।
आंगनवाड़ी कार्यकर्ता और मंच की सदस्य शिखा दत्ता ने विरोध स्थल पर दावा किया, ‘‘मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के बार-बार विरोध के बावजूद, निर्वाचन आयोग ने हजारों वास्तविक मतदाताओं को मताधिकार से वंचित करने के लिए कठोर विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) प्रक्रिया पर अमल किया।’’
इससे पहले, मंच ने सीईओ कार्यालय के बाहर एक सप्ताह से अधिक समय तक विरोध प्रदर्शन किया था और आरोप लगाया गया था कि एसआईआर की समय सीमा को पूरा करने के दबाव के कारण तनाव से कम से कम चार बीएलओ की मौत हो गई थी। मंच ने जान गंवाने वाले बीएलओ के परिवारों की खातिर मुआवजे की मांग की थी।
सीईओ ने बाद में कहा था कि उन्हें बीएलओ की तनाव के कारण हुई मौत के बारे में एक भी रिपोर्ट नहीं मिली थी।
भाषा राजकुमार सुरेश
सुरेश

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