क्षेत्रीय शांति एवं सुरक्षा के लक्ष्य को आगे ले जाने के लिए रचनात्मक भावना जरूरी: पाकिस्तानी दूत
क्षेत्रीय शांति एवं सुरक्षा के लक्ष्य को आगे ले जाने के लिए रचनात्मक भावना जरूरी: पाकिस्तानी दूत
नयी दिल्ली, 23 मार्च (भाषा) पाकिस्तानी दूत (उच्चायोग प्रभारी) साद अहमद वराइच ने रविवार को कहा कि क्षेत्रीय शांति एवं सुरक्षा के लक्ष्य को आगे ले जाने के लिए रचनात्मक भावना आवश्यक है तथा इसके लिए कश्मीर विवाद का ‘न्यायोचित समाधान’ जरूरी है।
भारत में पाकिस्तानी उच्चायोग के प्रभारी वराइच ने यहां उच्चायोग में आयोजित एक समारोह के दौरान अपने संबोधन में यह बात कही।
चांसरी लॉन स्थित उच्चायोग में पाकिस्तान दिवस मनाया गया।
उच्चायोग द्वारा जारी एक बयान के अनुसार वराइच ने कहा कि एक परमाणु शक्ति होने के नाते पाकिस्तान की रक्षा ‘अभेद्य’ है और इसके सशस्त्र बल ‘आंतरिक और बाहरी खतरों के खिलाफ एक अटूट ढाल’ हैं।
वराइच ने इस बात पर जोर दिया कि पाकिस्तान ‘क्षेत्र और उसके बाहर शांतिपूर्ण सह-अस्तित्व और सामूहिक कल्याण के सिद्धांतों’ में दृढ़ता से विश्वास करता है।
करतारपुर गलियारे पर द्विपक्षीय समझौते के हाल में हुए नवीनीकरण का हवाला देते हुए पाकिस्तानी राजनयिक ने कहा कि यह ‘बातचीत और कूटनीति के माध्यम से सहयोगपरक समाधान खोजने की पाकिस्तान की प्रतिबद्धता’ की पुष्टि है। उन्होंने कहा कि क्षेत्रीय शांति और सुरक्षा के लक्ष्य को आगे ले जाने के लिए ऐसी रचनात्मक भावना आवश्यक है।
उन्होंने कहा, ‘‘संयुक्त राष्ट्र के प्रस्तावों और कश्मीरी लोगों की इच्छाओं के अनुरूप जम्मू और कश्मीर विवाद का न्यायोचित समाधान इस उद्देश्य के लिए अनिवार्य है।’’
प्रभारी राजनयिक ने कहा कि 23 मार्च, 1940 के ऐतिहासिक लाहौर प्रस्ताव ने ‘उपमहाद्वीप के मुसलमानों के लिए एक अलग होमलैंड का मार्ग प्रशस्त किया।’
बयान के अनुसार इस मौके पर पाकिस्तान के राष्ट्रपति एवं प्रधानमंत्री के संदेश पढ़कर सुनाये गये।
भाषा
राजकुमार नरेश
नरेश

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