स्कूल के पास थी शराब की दुकान, हाईकोर्ट पहुंचा पांच साल का छात्र, जज ने सुना दिया ये बड़ा फैसला

स्कूल के पास थी शराब की दुकान, हाईकोर्ट पहुंचा पांच साल का छात्र, Liquor shop near school, five year old student reached High Court

स्कूल के पास थी शराब की दुकान, हाईकोर्ट पहुंचा पांच साल का छात्र, जज ने सुना दिया ये बड़ा फैसला

Liquor shop near school

Modified Date: May 10, 2024 / 12:51 am IST
Published Date: May 9, 2024 10:54 pm IST

प्रयागराज : इलाहाबाद उच्च न्यायालय ने एलकेजी में पढ़ने वाले पांच वर्ष के बच्चे की जनहित याचिका पर राज्य सरकार के अधिकारियों को कानपुर में याचिकाकर्ता के स्कूल के नजदीक स्थित शराब की दुकान के लाइसेंस का नवीनीकरण नहीं करने का निर्देश जारी किया।

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याचिकाकर्ता अथर्व दीक्षित ने कानपुर के आजाद नगर में देशी शराब की दुकान को दूसरी जगह स्थानांतरित करने और 2024-25 के लिए लाइसेंस का नवीनीकरण नहीं करने का निर्देश देने की मांग की थी। याचिकाकर्ता का स्कूल, शराब की दुकान से महज 30 मीटर की दूरी पर है। याचिकाकर्ता की दलील थी कि शराब की दुकान दिनभर खुली रहती है, जहां असामाजिक तत्व इकट्ठा होते हैं और स्कूल के बच्चों के लिए व्यवधान खड़ा करते हैं। मुख्य न्यायाधीश अरुण भंसाली और न्यायमूर्ति विकास बुधवार की खंडपीठ ने दो मई के अपने निर्णय में प्रदेश के उत्पाद शुल्क अधिकारियों को उक्त दुकान के लाइसेंस का नवीनीकरण करने से दूर रहने को कहा। दुकान का लाइसेंस 31 मार्च, 2025 को खत्म हो रहा है।

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राज्य सरकार ने जनहित याचिका के जवाब में नियमों का हवाला देते हुए कहा कि किसी सार्वजनिक पूजा स्थल, स्कूल, अस्पताल या रिहाइशी कॉलोनी से 50 मीटर दूरी पर दुकान खोलने का प्रावधान है लेकिन अगर दुकान खुलने के बाद ऐसे स्थान अस्तित्व में आते हैं तो ये नियम लागू नहीं होते।  चूंकि यह दुकान पिछले 30 वर्ष से चल रही है और स्कूल की स्थापना 2019 में हुई इसलिए नियमों का कोई उल्लंघन नहीं हुआ है। हालांकि, याचिकाकर्ता के वकील ने दलील दी कि अगर शराब की दुकान खुलने के बाद स्कूल स्थापित होता है तो चालू वित्त वर्ष में उस दुकान को बंद नहीं किया जाना चाहिए लेकिन दुकान का लाइसेंस खत्म होने पर कोई नया लाइसेंस नहीं दिया जाना चाहिए।

 


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