फोन टैपिंग मामला : न्यायालय ने तेलंगाना के पूर्व एसआईबी प्रमुख को आत्मसमर्पण करने का निर्देश दिया
फोन टैपिंग मामला : न्यायालय ने तेलंगाना के पूर्व एसआईबी प्रमुख को आत्मसमर्पण करने का निर्देश दिया
नयी दिल्ली, 11 दिसंबर (भाषा) उच्चतम न्यायालय ने बृहस्पतिवार को तेलंगाना विशेष खुफिया ब्यूरो (एसआईबी) के पूर्व प्रमुख और फोन टैपिंग मामले में आरोपी टी. प्रभाकर राव को शुक्रवार पूर्वाह्न 11 बजे तक पुलिस के सामने आत्मसमर्पण करने का निर्देश दिया।
न्यायमूर्ति बी वी नागरत्ना और न्यायमूर्ति आर महादेवन की पीठ ने कहा कि राव के खिलाफ अपराधों की विस्तृत जांच के उद्देश्य से यह आदेश दिया गया है।
पीठ ने कहा, ‘‘हम याचिकाकर्ता को निर्देश देते हैं कि वह कल (शुक्रवार) पूर्वाह्न 11 बजे तक जुबली हिल्स पुलिस थाने और जांच अधिकारी के समक्ष आत्मसमर्पण कर दे… हिरासत में पूछताछ कानून के अनुसार की जाएगी। सुनवाई शुक्रवार के लिए सूचीबद्ध की जाए। याचिकाकर्ता को अपने घर से भोजन और नियमित रूप से दवा लेने की स्वतंत्रता है।’’
सुनवाई के दौरान, राज्य की ओर से पेश हुए वरिष्ठ अधिवक्ता सिद्धार्थ लूथरा ने बताया कि खोले गए ‘आईक्लाउड’ खातों में कोई डेटा नहीं है।
उच्चतम न्यायालय ने 29 मई को राव को दंडात्मक कार्रवाई से अंतरिम संरक्षण प्रदान किया और उन्हें यह हलफनामा देने का निर्देश दिया कि पासपोर्ट प्राप्त होने के तीन दिनों के भीतर वह भारत लौट आएंगे।
राव ने तेलंगाना उच्च न्यायालय के उस आदेश को चुनौती देते हुए उच्चतम न्यायालय का रुख किया है, जिसमें उनकी अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी गई थी।
हैदराबाद की एक अदालत ने 22 मई को फोन टैपिंग मामले में राव को भगोड़ा घोषित करने का आदेश जारी किया था।
एसआईबी के एक निलंबित डीएसपी सहित चार पुलिस अधिकारियों को मार्च 2024 में हैदराबाद पुलिस द्वारा गिरफ्तार किया गया, जिन पर पिछली बीआरएस सरकार के दौरान विभिन्न इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों से खुफिया जानकारी मिटाने के साथ-साथ फोन टैपिंग करने का आरोप है।
भाषा शफीक देवेंद्र
देवेंद्र

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