Supreme Court on Fact Check Unit : सुप्रीम कोर्ट ने सरकार की फैक्ट चेक यूनिट की अधिसूचना पर लगाई रोक, अभिव्यक्ति की आजादी पर बताया खतरा, जानें पूरा मामला
Supreme Court bans notification of government's fact check unit, calls it a threat to freedom of expression, know the whole matter
Today News and LIVE Update 29 November | Photo Credit : File
Supreme Court on Fact Check Unit : नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने 20 मार्च 2024 को फैक्ट चेक यूनिट बनाने की नोटिफिकेशन जारी की थी। इस नोटिफिकेशन पर सुप्रीम कोर्ट ने रोक लगा दी। यह रोक तब तक के लिए लगाई है, जब तक बॉम्बे हाई कोर्ट इस मामले में दायर याचिकाओं पर सुनवाई ना कर ले। बता दें कि इस फैक्ट चेक यूनिट को केंद्र सरकार के बारे में फर्जी खबरों की पहचान करने और उसे रोकने के लिए बनाया गया था।
फैक्ट चेक यूनिट सरकार की तरफ से सोशल मीडिया के अलग अलग प्लेटफॉर्म्स उदाहरण के लिए फेसबुक, एक्स या इंस्टाग्राम आदि पर कंटेंट की निगरानी करेगी और ये यूनिट किसी जानकारी को फर्जी या गलत बता सकती है। फैक्ट चेक यूनिट की आपत्ति के बाद उस कंटेंट या पोस्ट को सोशल मीडिया से हटाना होगा और इंटरनेट से उसका यूआरएल भी ब्लॉक करना होगा। फैक्ट चेक यूनिट एक नोडल एजेंसी होगी।
चीफ जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ की बेंच ने कहा कि यह मामला अभिव्यक्ति की आजादी का है। इसके साथ ही उसने बॉम्बे हाई कोर्ट के उस आदेश पर भी रोक लगा दी, जिसमें इस फैक्ट चेक यूनिट को सही माना गया था। इसके बाद सरकार ने इसके गठन की अधिसूचना जारी कर दी थी, जिस पर अब सुप्रीम कोर्ट ने रोक लगाई है।
कोर्ट में रखी गई ये दलीलें
सबके के लिए एक स्वतंत्र फैक्ट चेक यूनिट रहनी चाहिए, जबकि केंद्र सरकार इसे सिर्फ अपने लिए ला रही है, जो मनमाना है।
क्या गलत है या क्या नहीं, यह तय करने के लिए फैक्ट चेक यूनिट केंद्र के फैसले पर निर्भर नहीं हो सकता।
चुनाव नजदीक हैं, ऐसे में फैक्ट चेक यूनिट केंद्र के लिए एक हथियार बन जाएगा, जिससे वे तय करेंगे कि मतदाताओं को कौन सी जानकारी दी जाए।

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