The four walls of the prison could not imprison the art, people are not tired

कला को कैद नहीं कर पाई जेल की चार दीवारी, कैदियों की प्रतिभा देख तरीफ करते नहीं थक रहे लोग

The four walls of the prison could not imprison the art, people are not tired of looking at the talent of the prisoners

Edited By :   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:52 PM IST, Published Date : August 30, 2022/3:40 pm IST

four walls of the prison could not imprison the art: जबलपुर : कला कभी किसी महौल की मोहताज नही होती, अच्छा कलाकार हर महौल में अपनी कला को जीवित रखने का प्रयास करता है,ऐसा ही कुछ कर दिखाया है जेल में बंद कुछ कैदियों ने। इन कैदियों ने गणेश चतुर्थी के शुभ अवसर पर गणेश की जी खूबसूरत मूर्तिया बनाई है। आपको बता दें कि ये खबर जबलपुर के नेताजी सुभाशचंद बोस सेन्ट्रल जेल की है।

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कैदियों ने बनाई मुर्तिया

four walls of the prison could not imprison the art: इस जेल में अलग – अलग अपराधों की सजा काट रहे कैदियों ने गणपति जी की इतनी खूबसूरत मुर्तिया बनाई है, जिसे देखकर हर कोई हैरान है। जेल की चार दिवारी इनकी कलाओं को कैद नही कर सकी,जेल में रहते हुये भी इन लोगों ने अपनी कलाओं को आम लोगों तक पहुचाने के लिए जेल में गणेश की मूर्तियों का निर्माण किया है,दरअसल 31 अगस्त से शुरू होने वाले गणेशोत्सव पर्व की तैयारी पूरे देश में ज़ोरों पर है। जिसको देखते हुए कैदियों ने मुर्तिया बनाने का फैसला किया।

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जेल प्रशासन ने की कैदियों की सराहना

four walls of the prison could not imprison the art: इन मूर्तियों को कैदियों ने बनने में रगं और ब्रश के साथ साथ मिट्टी,गोबर और तुलसी के बीज से निर्मित भगवान गणेश की मूर्तिया इतनी मनोहारी है की किसी का भी मन मोह जाए। इन कैदियों की प्रतिभा को देखते हुए जेल प्रशसान ने मूर्तिया बनाने का सामान मुहैया कराया है, वही इन बंदियों ने जेल में बड़ी संख्या में भगवान गणेश की छोटी प्रतिमाएं तैयार की है। कई रूपों में बनाई गई गणेश की इन मूर्तियों को नेता जी सुभाष चंद्र बोस सेंट्रल जेल के बाहर एक काउंटर बनाया गया है। जहा पर कैदियों द्वारा बनाई गई मूर्तियों को आम लोगों के खरीदने के लिए राखी गई है, ताकि लोग कैदियों की कला और उनकी मेहनत का हौसला अफ़जाई करने। साथ ही गणेश जी की इन प्रतिमा को अपने घरों में विराजमान कर गणेशोत्सव धूमधाम से मनाएं।