मप्र: भाजपा व कांग्रेस आगामी निकाय चुनावों में ओबीसी के 27 प्र.श. उम्मीदवार उतारेगी |

मप्र: भाजपा व कांग्रेस आगामी निकाय चुनावों में ओबीसी के 27 प्र.श. उम्मीदवार उतारेगी

मप्र: भाजपा व कांग्रेस आगामी निकाय चुनावों में ओबीसी के 27 प्र.श. उम्मीदवार उतारेगी

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:30 PM IST, Published Date : May 11, 2022/7:54 pm IST

भोपाल, 11 मई (भाषा) सत्तारूढ़ भाजपा और विपक्षी कांग्रेस ने मध्य प्रदेश के आने वाले स्थानीय निकायों के चुनावों में अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) के 27 प्रतिशत उम्मीदवारों को मैदान में उतारने की बुधवार को घोषणा की।

उच्चतम न्यायालय द्वारा मध्यप्रदेश राज्य निर्वाचन आयोग को राज्य में दो सप्ताह के भीतर स्थानीय निकाय चुनाव कार्यक्रम की अधिसूचना जारी करने के निर्देश के एक दिन बाद इन दोनों दलों ने यह ऐलान किया है।

शीर्ष अदालत के इस निर्देश पर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि राज्य सरकार ने न्यायालय में पुनरीक्षण याचिका दायर करने का निर्णय लिया है, जबकि विपक्षी कांग्रेस ने सत्तारूढ़ भाजपा पर ओबीसी को आरक्षण से वंचित करने का आरोप लगाया है।

मध्य प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ ने एक बयान में कहा, ‘‘हमें भाजपा सरकार से कोई उम्मीद नहीं है। भाजपा ने ओबीसी आरक्षण के लिए दो साल में कोई प्रयास नहीं किया, कोई कानून नहीं बनाया।’’

उन्होंने कहा, ‘‘कांग्रेस पार्टी ने तय किया है कि आने वाले निकाय चुनावों में हम 27 प्रतिशत टिकट ओबीसी वर्ग को देंगे।’’

वहीं, प्रदेश भाजपा अध्यक्ष वीडी शर्मा ने यहां संवाददाता सम्मेलन में आरोप लगाया कि राज्य सरकार ने मध्य प्रदेश में ओबीसी आरक्षण के साथ चुनाव कराने की प्रक्रिया शुरू कर दी थी, लेकिन कांग्रेस नेताओं ने अदालत का रुख किया और इसमें बाधा डाली।

उन्होंने कहा कि राज्य की भाजपा सरकार उच्चतम न्यायालय के फैसले पर पुनर्विचार याचिका दायर करेगी।

शर्मा ने कहा, ‘‘भाजपा राज्य में आगामी स्थानीय निकायों के चुनावों में 27 प्रतिशत या उससे भी अधिक ओबीसी उम्मीदवारों को मैदान में उतारेगी।’’

उन्होंने कहा कि ओबीसी को आरक्षण सुनिश्चित करने के लिए मुख्यमंत्री संविधान विशेषज्ञों और वकीलों से बात कर रहे हैं।

इसी बीच, कांग्रेस विधायकों सज्जन वर्मा, पी सी शर्मा और कमलेश्वर पटेल ने बुधवार को यहां संयुक्त पत्रकार-वार्ता कर आरोप लगाया कि भाजपा सरकार मध्य प्रदेश में ओबीसी के आरक्षण को समाप्त करना चाहती है।

उन्होंने आरोप लगाया कि प्रदेश की भाजपा सरकार नौकरियों और शिक्षा में कमलनाथ सरकार के समय दिए गए आरक्षण को अदालतों में कमजोर पैरवी करके धीरे-धीरे खत्म करती जा रही है और वही तरीका पंचायत चुनाव में अन्य पिछड़ा वर्ग के आरक्षण को समाप्त करने के लिए अपनाया गया है।

इन कांग्रेस नेताओं ने कहा, ‘‘राज्य सरकार ओबीसी आरक्षण पर विधानसभा का विशेष सत्र बुलाए और सदन में ओबीसी आरक्षण के लिए संविधान संशोधन का प्रस्ताव पारित कर केंद्र को भेजे।’’

भाषा रावतरावत रावत सुरेश

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