रोड्रिग्स और मंधाना के अर्धशतक, भारत ने बनाये चार विकेट पर 195 रन

रोड्रिग्स और मंधाना के अर्धशतक, भारत ने बनाये चार विकेट पर 195 रन

रोड्रिग्स और मंधाना के अर्धशतक, भारत ने बनाये चार विकेट पर 195 रन
Modified Date: December 15, 2024 / 09:13 pm IST
Published Date: December 15, 2024 9:13 pm IST

नवी मुंबई, 15 दिसंबर (भाषा) जेमिमा रोड्रिग्स (73 रन) और स्मृति मंधाना (54 रन) के अर्धशतकों की बदौलत भारत ने रविवार को यहां तीन मैच की श्रृंखला के पहले मैच में चार विकेट पर 195 रन बनाकर वेस्टइंडीज के खिलाफ अपना सर्वश्रेष्ठ टी20 अंतरराष्ट्रीय स्कोर बनाया।

रोड्रिग्स ने 35 गेंद में 73 रन की पारी खेली जिसमें नौ चौके और दो छक्के जड़े थे जो तीसरे नंबर पर उनकी सर्वश्रेष्ठ पारियों में से एक थी।

ऑस्ट्रेलिया दौरे के अपने आखिरी मैच (अंतिम वनडे में) 105 रन बनाने वाली मंधाना ने शानदार फॉर्म को जारी रखते हुए इस प्रारूप में अपना 28वां और साल का छठा अर्धशतक जड़ा। उन्होंने अपनी 33 गेंद में 54 रन की पारी के दौरान दो छक्के और सात चौके जमाये। इस पारी से इस साल उनके रनों की संख्या 600 रन के पार हो गई जबकि वह 2024 में महिला टी20 अंतरराष्ट्रीय में सर्वाधिक रन बनाने वाली खिलाड़ियों की सूची में चौथे स्थान पर पहुंच गईं।

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भारत ने वेस्टइंडीज के खिलाफ अपने अब तक के सर्वोच्च स्कोर में सुधार किया, टीम का पिछला सर्वश्रेष्ठ स्कोर नवंबर 2019 में ग्रोस आइलेट में चार विकेट पर 185 रन था।

रोड्रिग्स ने अपने पसंदीदा क्षेत्र में गैप ढूंढकर रन जुटाये और अपना 12वां अर्धशतक पूरा किया। मंधाना और रोड्रिग्स ने दूसरे विकेट के लिए 44 गेंदों पर 81 रन जोड़े।

पर करिश्मा रामहरैक ने मंधाना को आउट कर इस भागीदारी को तोड़ दिया। रामहरैक 18 रन देकर दो विकेट चटकाने से कैरेबियाई गेंदबाजों में सर्वश्रेष्ठ गेंदबाज थीं।

ऋचा घोष ने 14 गेंद में दो चौकों और एक छक्के की मदद से 20 रन बनाए और उनकी पारी का अंत अनुभवी डाएंड्रा डॉटिन ने 17वें ओवर में मैंडी मंगरू की गेंद पर डीप मिडविकेट पर शानदार कैच लपककर किया।

इससे पहले भारत की सलामी जोड़ी उमा छेत्री (24) और मंधाना ने सात ओवर में 50 रन जोड़कर टीम को अच्छी शुरूआत कराई।

छेत्री ने शुरुआत में ही 26 गेंदों की अपनी पारी में चार चौके लगाए लेकिन तीसरे ओवर में चिनेल हेनरी की गेंद पर वेस्टइंडीज की कप्तान हेली मैथ्यूज द्वारा पहली स्लिप में कैच टपकाए जाने के बाद जीवनदान का पूरा फायदा नहीं उठा सकीं।

भाषा नमिता सुधीर

सुधीर


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